Jan 16, 2025
रानी वेलू नचियार रामनाथपुरम के राजा चेल्लमुत्थू विजयरागुनाथ सेथुपति की इकलौती संतान थीं।
Credit: Meta-AI
किसी भी राजा की तरह रानी वेलू नचियार को भी अस्त्र-शस्त्रों का पूरा ज्ञान था।
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मार्शल आर्ट, घुड़सवारी, तीरंदाजी, सिलंबम (स्टिक फाइट) में उन्हें बचपन में ही ट्रेनिंग मिल चुकी थी।
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रानी वेलू नचियार को न केवल हिंदी बल्कि तमिल, अंग्रेजी, फ्रेंच और उर्दू जैसी कई भाषाओं का पूरा ज्ञान था।
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अंग्रेजों की चंगुल से बचने के लिए रानी वेलू को अपना सबकुछ छोड़ना पड़ा।
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अंग्रेजों को धूल चटाने के लिए उन्होंने महिलाओं की एक सेना बनाई और उसका नाम उदयाल रखा।
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अपनी महिला सेनाओं को विभिन्न प्रकार के युद्धों में प्रशिक्षित किया।
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अपनी महिला सेना के साथ रानी वेलू शिवगंगा प्रांत को फिर से जीतना शुरू किया और अपने किले में घुसकर अंग्रेजों के छक्के छुड़ा दिए।
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1780 में अपने राज्य को वापस से हासिल करने में सफलता हासिल की।
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