Jun 30, 2023
महमूद का जन्म ई. 971 में हुआ था और 27 साल की उम्र में बादशाह बन गया था।
Credit: Social-Media-Wikipedia
उसने 17 बार भारत पर आक्रमण किया और यहां की अपार सम्पत्ति को वह लूट कर गजनी ले गया था।
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महमूद इतना विध्वंसकारी शासक था कि लोग उसे मूर्तिभंजक कहने लगे थे।
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महमूद का सबसे बड़ा आक्रमण 1026 ई. में काठियावाड़ के सोमनाथ मंदिर पर हुआ था।
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उस वक्त चालुक्य वंश का भीम प्रथम काठियावाड़ का शासक था। महमूद के हमले की सूचना मिलते ही वह भाग खड़ा हुआ था।
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गजनवी ने मंदिर को ध्वस्त किया और पुजारी समेत हजारों लोग मौत के घाट उतार दिए।
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वह मंदिर का सोना और भारी खजाना लूटकर ले गया। अकेले सोमनाथ से उसे अपनी सभी लूटों से अधिक धन मिला।
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उसका आखिरी हमला 1027 ई. में हुआ जब उसने पंजाब को अपने राज्य में मिला लिया था और लाहौर का नाम बदलकर महमूदपुर कर दिया था।
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अपने आखिरी समय में महमूद गजनवी असाध्य रोगों से पीड़ित हो गया और असहनीय दर्द झेलता रहा।
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वह शारीरिक और मानसिक रोग से ग्रसित था और कहते हैं कि अंत में उसकी मौत मलेरिया से 30 अप्रैल 1030 को हो गई।
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