Sep 11, 2024

हाइवे और एक्सप्रेसवे पर किस आधार पर तय होता है टोल का पैसा, जान लीजिए

Rohit Ojha

टोल कलेक्शन सिस्टम

फास्टैग के बाद अब सरकार टोल कलेक्शन के लिए GNSS लेकर आई है।

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कैसे होता है कैलकुलेट

क्या आप जानते हैं कि देश की सड़कों पर चलने के लिए टोल टैक्स कैसे कैलकुलेट होता है।

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निर्माण और रख-रखाव

हाईवे और एक्सप्रेसवे के निर्माण के साथ-साथ रखरखाव के लिए टोल टैक्स लिया जाता है।

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एक स्ट्रेच की दूरी

टोल टैक्स कैलकुलेट करने के पीछे कई चीजें देखी जाती हैं। यह एक स्ट्रेच की दूरी पर निर्भर करता है।

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टोल बूथ की दूरी

यह आमतौर पर 60 किलोमीटर का होता है। कम या ज्यादा होने पर टैक्स में बदलाव कर दिया जाता है।

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बदल जाता है टोल

अगर इस दूरी में ब्रिज, टनल या बायपास आदि शामिल हो जाता है तो उसका टोल बदल जाता है।

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शुल्क इन चीजों पर निर्भर

इसके अलावा हाइवे की चौड़ाई, एग्रीमेंट, एप्लीकेबल फीस, हाइवे की लागत और वहां की स्थिति पर यह निर्भर करता है।

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अलग-अलग टोल

टोल टैक्स वाहनों के आकार और भार के अनुसार अलग-अलग वाहनों के लिए अलग-अलग होता है।

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नुकसान को रखा जाता है ध्यान

टोल टैक्स के लिए NHAI भारी वाहनों के कारण सड़क को होने वाले संभावित नुकसान को ध्यान में रखता है।

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