तो सबसे पहले भारतीय साड़ी जलाओ....'बायकॉट इंडिया' मुहिम चलाने वालों पर शेख हसीना का पलटवार
शेख हसीना और उनकी अवामी लीग पार्टी के विरोधियों ने उन्हें भारत समर्थक करार देने की कोशिश में हैं और इनका दावा है कि भारत ने उन्हें जनवरी में हुए चुनाव जीतने में मदद की।
शेख हसीना का विपक्ष पर हमला
अवामी लीग बनाम बीएनपी
हसीना और उनकी अवामी लीग पार्टी के विरोधियों ने उन्हें भारत समर्थक करार देने की कोशिश में हैं और इनका दावा है कि भारत ने उन्हें जनवरी में हुए चुनाव जीतने में मदद की। विपक्षी दलों ने बांग्लादेश के लोगों से भारतीय उत्पादों का बहिष्कार करने की अपील करते हुए एक अभियान शुरू किया है। इस मुद्दे के गरमाने पर महीनों तक चुप रहने के बाद हसीना ने बांग्लादेश की प्रमुख विपक्षी पार्टी बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी (BNP) के नेताओं पर हमला बोला और 'भारत का बहिष्कार अभियान' को लेकर पलटवार किया है।
शेख हसीना ने जनवरी में भारी जीत दर्ज की
जनवरी के चुनावों में भारी जीत के बाद सत्ता में आईं हसीना ने बीएनपी नेताओं को नसीहत देने के लिए साड़ी का इस्तेमाल किया, जो सोशल मीडिया पर भारतीय उत्पादों के बहिष्कार अभियान का समर्थन कर रहे हैं। शेख हसीना ने कई उदाहरण देकर भारत की महान मित्र के रूप में सराहना की है। हसीना ने पूछा- उनकी (बीएनपी नेता की) पत्नियों के पास कितनी भारतीय साड़ियां हैं? ढाका में अवामी लीग कार्यालय में कुछ लोगों के बीच हसीना ने हल्के-फुल्के अंदाज में पूछा, बीएनपी नेता भारतीय उत्पादों का बहिष्कार कर रहे हैं। वे अपनी पत्नियों को क्यों नहीं ले जा रहे हैं?
साड़ियों के प्रति शेख हसीना का प्रेम
साड़ियों के प्रति अपने प्रेम और उन्हें भारतीय नेताओं को उपहार में देने के लिए पहचानी जाने वाली हसीना ने विपक्षी नेताओं के सामने साड़ी चुनौती रखी। उन्होंने हमला शुरू करते हुए कहा, जब वे अपनी पत्नियों की भारतीय साड़ियां अपने पार्टी कार्यालय के सामने जलाएंगे, तभी यह साबित होगा कि वे असल में भारतीय उत्पादों का बहिष्कार करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। बांग्लादेशी प्रधानमंत्री ने यह भी आरोप लगाया कि बीएनपी नेता और उनकी पत्नियां भारत से साड़ियां खरीदकर बांग्लादेश में बेचती थीं। हसीना ने आरोप लगाया, जब बीएनपी सत्ता में थी, मैंने उनके नेताओं की पत्नियों को समूहों में भारतीय साड़ियां खरीदने के लिए भारत आते देखा था। वे बांग्लादेश में साड़ियां बेचती थीं।
सिर्फ भारतीय साड़ी ही नहीं, भारतीय मसाले भी मशहूर
शेख हसीना ने सिर्फ भारतीय साड़ी का जिक्र नहीं किया। उन्होंने विपक्षियों पर "भारतीय मसाले" भी छिड़के। 27 मार्च को उन्होंने कहा, मेरा एक और सवाल है। हम भारत से गरम मसाला, प्याज, लहसुन, अदरक और कई अन्य चीजें आयात कर रहे हैं। वे (बीएनपी नेता) भारतीय मसालों के बिना खाना क्यों नहीं बनाते? उन्हें इनके बिना खाना बनाना और खाना चाहिए।
बांग्लादेश में भारत का बहिष्कार अभियान
'बॉयकॉट इंडिया' अभियान पर हंगामा ऑनलाइन ठीक उसी तरह बढ़ गया, जिस तरह मालदीव के 'इंडिया आउट' मामले में हुआ था। हसीना की जीत के बाद फरवरी में भारतीय सामान के विरोध की कुछ घटनाएं सामने आईं। ढाका के बाजार, जो आम तौर पर भारतीय उत्पादों से भरे रहते थे, उन्हें नई डिलीवरी लेने से मना कर दिया गया। खाना पकाने का तेल, प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थ, प्रसाधन सामग्री, सौंदर्य प्रसाधन और कपड़े जैसे भारतीय उत्पादों की बिक्री में गिरावट देखी गई।
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