USA-China में तनाव के बीच मिले बाइडन-शी, मीटिंग के दौरान ऐसा रहा अंदाज, गर्मजोशी से मिले हाथ
USA-China Relations amid Tensions: अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन ने सोमवार को चीनी समकक्ष शी चिनफिंग के साथ बैठक की। उन्होंने इस दौरान ताइवान के प्रति चीन की ‘‘दमनात्मक और आक्रामक कार्रवाइयों’’ पर आपत्ति जताई। उन्होंने इसके साथ ही शिनजियांग, तिब्बत और हांगकांग में चीन की ओर से मानवाधिकारों के उल्लंघन को लेकर चिंताओं को उठाया। यह जानकारी अमेरिकी राष्ट्रपति कार्यालय व्हाइट हाउस की ओर से दी गई।
करीब दो साल पहले अमेरिका के राष्ट्रपति के तौर पर कार्यभार संभालने के बाद जो बाइडन और चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने सोमवार को अपनी पहली व्यक्तिगत बैठक की। (सोर्स: AP)
USA-China Relations amid Tensions: अमेरिकी राष्ट्रपति के नाते कार्यभार संभालने के बाद जो बाइडन की सोमवार (14 नवंबर, 2022) को चीनी समकक्ष शी चिनफिंग के साथ पहली निजी बैठक हुई। रोचक बात यह है कि यह मीटिंग इंडोनेशिया के नुसा दुआ में तब हुई, जब दोनों महाशक्तियों के बीच बढ़ते आर्थिक और सुरक्षा तनाव के हालात हैं। वहां के एक लग्जरी रिसॉर्ट होटल में भेंट के वक्त बाइडन और शी ने एक-दूजे का अभिवादन किया और गर्मजोशी से हाथ मिलाया। दोनों दिग्गज जी-20 शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेने पहुंचे थे।संबंधित खबरें
यूएस अफसरों के हवाले से समाचार एजेंसी एपी की रिपोर्ट में बताया गया कि बाइडन का लक्ष्य नेताओं और राष्ट्रों के बीच संबंधों में “एक आधार बनाना” - संभावित सहयोग के क्षेत्रों की पहचान करना और असहमति के क्षेत्रों पर परमाणु शक्तियों के बीच गलत आकलन से बचना- है। दोनों के बीच यह बहुप्रतीक्षित बैठक ऐसे वक्त पर हुई, जब उन्होंने अपने घरेलू मोर्चों पर मजबूती दिखाई।संबंधित खबरें
बाइडन की शी के साथ हुई मीटिंग में ताइवान के प्रति चीन की ‘‘दमनात्मक और आक्रामक कार्रवाइयों’’ पर आपत्ति जताई गई। व्हाइट हाउस ने लगभग तीन घंटे के सत्र पर एक बयान में कहा कि बाइडन ने शी से कहा कि अमेरिका चीन के साथ ‘‘कड़ी प्रतिस्पर्धा करना जारी रखेगा’’ लेकिन ‘‘प्रतिस्पर्धा संघर्ष में नहीं बदलना चाहिए।’’संबंधित खबरें
व्हाइट हाउस की ओर से बताया गया कि बाइडन-शी इस बात पर भी सहमत हुए कि ‘‘परमाणु युद्ध कभी नहीं लड़ा जाना चाहिए’’ और न ही इसे जीता जा सकता है। यूक्रेन में परमाणु हथियारों के इस्तेमाल या खतरे के प्रति अपने विरोध को रेखांकित किया।’’संबंधित खबरें
दरअसल, बाइडन के शासनकाल में अमेरिका और चीन के रिश्ते काफी तनावपूर्ण रहे हैं। यूएस की प्रतिनिधि सभा की अध्यक्ष नैन्सी पेलोसी के अगस्त में ताइवान की यात्रा करने के बाद दोनों देशों के बीच संबंध और खराब हो गए थे। चीन ने इसे उकसाने वाला कदम करार दिया था और इसके जवाब में स्व-शासित द्वीप के आसपास कई सैन्य अभ्यास किए थे। संबंधित खबरें
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अभिषेक गुप्ता author
छोटे शहर से, पर सपने बड़े-बड़े. किस्सागो ऐसे जो कहने-बताने और सुनाने को बेताब. कंटेंट क्रिएशन के साथ...और देखें
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