Google 25th Birthday: 25 बरस का हो गया गूगल, डूडल बना यूं मनाया बर्थडे; पढ़ें- विश्व को 'क्लिक्स पर नचाने' वाले सर्च इंजन की कहानी
Google 25th Birthday (गूगल का 25वां जन्मदिन): अमेरिकी मूल की गूगल एक जानी-मानी मल्टीनेशनल कंपनी है। यह आर्टीफीशियल इंटेलिजें, ऑनलाइन एडवर्टाइजिंग, सर्च इंजन टेक्नोलॉजी, क्लाउड कंप्यूटिंग, कंप्यूटर सॉफ्टवेयर, क्वांटम कंप्यूटिंग, ई-कॉमर्स और कंज्यूमर इलेक्ट्रॉनिक्स पर जोर देती है।
गूगल जाना-माना और पुराना अमेरिकी इंटरनेट सर्च इंजन है। (फाइल)
Google 25th Birthday (गूगल का 25वां जन्मदिन): अमेरिकी सर्च इंजन गूगल अपने 25 साल पूरे कर चुका है। बुधवार (27 सितंबर, 2023) को इसी मौके को गूगल ने इंटरनेट पर डूडल के जरिए खास और यादगार बनाया। गूगल के होम पेज पर एनिमेटेड डूडल बनाकर दिखाया गया, जिसमें गूगल केहोम पेज पर नजर आने वाले उसके "लोगो और डिजाइन" थे। ये सारे मूविंग फॉर्मेट में थे, जिनके बाद गूगल 25 लिखकर आ रहा था।
रोचक बात है कि इस डूडल के डिजाइन पर क्लिक करने के बाद यूजर्स को जिस नए पेज पर रीडायरेक्ट किया गया, वहां गूगल और उसके 25वें जन्मदिन से जुड़ी जानकारी आ रही थी, जबकि "पार्टी पॉपर इस्तेमाल किए जाने वाला खास इफेक्ट" भी नजर आया।
दरअसल, गूगल के जन्म के पीछे दो बड़े चेहरे रहे हैं। पहले डॉक्टरेट स्टूडेंट- सर्गेई ब्रिन, जबकि दूसरे- लैरी पेज। ये दोनों 90 के दशक के अंत में स्टैनफोर्ड विवि के कंप्यूटर विज्ञान प्रोग्राम में मिले थे। वे जल्दी ही समझ गए थे कि उनके विचार मेल खाते हैं। साथ ही उनका दृष्टिकोण (World wide Web को और अधिक सरल व सुलभ जगह बनाने के संदर्भ में) भी एक जैसा है।
google 25th birthday
आगे चलकर इस जोड़ी ने बेहतर सर्च इंजन का प्रोटोटाइप विकसित करने के लिए अपने हॉस्टल में खूब पसीना बहाया। जैसे ही उन्होंने प्रोजेक्ट पर सार्थक प्रगति की...उन्होंने ऑपरेशन को गूगल के पहले ऑफिस (एक किराए के गैराज) शिफ्ट किया। दोनों ने इसे आधिकारिक तौर पर लॉन्च करने से पहले बैकरब (BackRub - 1996 के आसपास की बात है) नाम दिया था।
उन्होंने बैकरब नाम इसलिए दिया था क्योंकि उनका यह प्रोग्राम वेब के "बैक लिंक्स" को एनालाइज करता था और यह समझने का प्रयास करता था कि वेबसाइट कितनी अहम है और अन्य साइट्स उससे कैसी जुड़ी हैं। चूंकि, तब उनके पास अधिक बैंडविड्थ नहीं थी लिहाजा बैकरब स्टैनफोर्ड के सर्वर पर चलता था।
हालांकि, 1997 आते-आते उन्हें लगा कि यह नाम ठीक नहीं है। आगे गूगल नाम आया। ऐसा बताया जाता है कि यह नाम असल में स्टैनफोर्ड में ग्रैजुएट स्टूडेंट शॉन एंड्रसन (Sean Anderson) के सुझाए नाम से निकला। उन्होंने googolplex सजेस्ट किया था। मंथन के दौर के बाद इसे छोटा कर के googol कर दिया गया।
चूंकि, एंड्रसन यह देखना चाहते थे कि कहीं यह डोमेन नेम लिया तो नहीं जा चुका है। ऐसे में उन्होंने googol.com की जगह पर गलती से google.com सर्च कर दिया। पेज को यह नाम ज्यादा अच्छा लगा और इसे ही 15 सितंबर, 1997 को रजिस्टर किया गया। फिर आगे 27 सितंबर 1998 को, गूगल इन्कॉर्परेशंस (Google Inc.) का आधिकारिक तौर पर जन्म हुआ।
गूगल एक जानी-मानी मल्टीनेशनल कंपनी है। यह आर्टीफीशियल इंटेलिजें, ऑनलाइन एडवर्टाइजिंग, सर्च इंजन टेक्नोलॉजी, क्लाउड कंप्यूटिंग, कंप्यूटर सॉफ्टवेयर, क्वांटम कंप्यूटिंग, ई-कॉमर्स और कंज्यूमर इलेक्ट्रॉनिक्स पर जोर देती है।
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अभिषेक गुप्ता author
छोटे शहर से, पर सपने बड़े-बड़े. किस्सागो ऐसे जो कहने-बताने और सुनाने को बेताब. कंटेंट क्रिएशन के साथ...और देखें
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