PoK में थम नहीं रहा बवाल, इंटरनेट सेवा, स्कूल-कारोबार, परिवहन सब ठप, सेना का दखल देने से इंकार

Protests in PoK : विगत दशकों में पीओके में यह सबसे बड़ा उग्र एवं हिंसक प्रदर्शन है। प्रदर्शनों की वजह से बाजार, स्कूल और परिवाहन सेवाएं बंद हैं। इस उग्र प्रदर्शन की आंच पाकिस्तान में भी महसूस की जाने लगी है। इससे पाकिस्तान सरकार की स्थिरता को भी चुनौती मिल रही है।

पीओके में सरकारी नीतियों के खिलाफ लोगों में काफी गुस्सा है।

Protests in PoK : पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में बवाल मचा हुआ है। महंगाई, टैक्स, बिजली की दरों में बेतहाशा वृद्धि के खिलाफ सड़कों पर उतर आए हैं और हिंसक प्रदर्शन कर रहे हैं। चार दिन बाद भी हालात काबू में नहीं आए हैं। आक्रोशित लोगों को नियंत्रण में करने की पाकिस्तान पुलिस के बल प्रयोग का जवाब भी लोग हिंसा से दे रहे हैं। नाराज लोगों के गुस्से का शिकार सैकड़ों पुलिसकर्मी हुए हैं। इसमें एक पुलिस अधिकारी की जान भी चली गई है जबकि 100 से ज्यादा सुरक्षाकर्मी घायल हुए हैं। हालात बेकाबू होने के बाद समूचे पीओके में इंटरनेट एवं मोबाइल सेवा बंद कर दी गई है। पीओके में गतिविधियां थम सी गई हैं।

जरदारी ने बुलाई आपात बैठक

पीओके में लोगों का प्रदर्शन न थमता देख पीओके सरकार ने पाक रेंजर्स की तैनाती की मांग की। मीडिया में सूत्रों के हवाले से कहा गया कि इस मांग को सेना की तरफ से खारिज कर दिया गया। सेना ने कहा है कि विरोध प्रदर्शनों में वह दखल नहीं देगी। हिंसक प्रदर्शनों के सिलसिले में पुलिस ने शुक्रवार को 70 से ज्यादा लोगों को गिरफ्तार किया। इस बीच पीओके के हालात पर राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी ने आपात बैठक बुलाई और कोई रास्ता निकालने की बात कही।

End Of Feed