जानें कौन हैं भारतवंशी लिसा नंदी, जिन्हें ब्रिटिश PM कीर स्टार्मर ने दी अपनी कैबिनेट में जगह
Lisa Nandy: यूके के नवनियुक्त प्रधानमंत्री कीर स्टार्मर ने शुक्रवार को भारतवंशी सांसद लिसा नंदी को संस्कृति, मीडिया और खेल मंत्री नियुक्त किया। आम चुनाव में लेबर पार्टी ने भारी बहुमत से जीत दर्ज की है। वहीं, लिसा नंदी ने उत्तर-पश्चिम इंग्लैंड के विगन से भारी बहुमत से विजय प्राप्त की है।
ब्रिटिश PM कीर स्टार्मर ने भारतवंशी लिसा नंदी को अपनी कैबिनेट में दी जगह
Lisa Nandy: यूके के नए पीएम कीर स्टार्मर ने शुक्रवार को अपनी कैबिनेट का एलान कर दिया। कीर स्टार्मर की कैबिनेट में भारतीय मूल की एक महिला नेता को भी अहम मंत्रालय मिला है। उत्तर-पश्चिम इंग्लैंड के विगन क्षेत्र से भारी अंतर के साथ पुनर्निर्वाचित होने वाली भारतीय मूल की लिसा नंदी को प्रधानमंत्री कीर स्टार्मर ने संस्कृति, मीडिया एवं खेल मंत्री नियुक्त किया। चुनावों में लेबर पार्टी की शानदार जीत के बाद कीर स्टार्मर ने तुरंत अपने कैबिनेट की घोषणा करते हुए नई सरकार के कामकाज की शुरुआत कर दी।
लिसा नंदी के नाना फ्रैंक बायर्स भी रह चुके है सांसद
बता दें कि लिसा नंदी जनवरी 2020 में लेबर पार्टी के अध्यक्ष पद के लिए चुनावों में अंतिम 3 दावेदारों में से एक थीं, जहां उनका सामना कीर स्टार्मर और एक अन्य उम्मीदवार से था। लिसा नंदी तब से कीर स्टॉर्मर की अध्यक्षता में काम कर रही हैं। बता दें कि लिसा नंदी के पिता दीपक नंदी इंग्लिश लिटरेचर में जाना-माना नाम हैं, और वह 1956 में ब्रिटेन गए थे। वहीं, लिसा नंदी के नाना फ्रैंक बायर्स लिबरल पार्टी से सांसद रह चुके थे। लिसा नंदी, ऋषि सुनक के नेतृत्व वाले कंजर्वेटिव पार्टी की सरकार में संस्कृति मंत्रालय का कार्यभार संभाल रही लूसी फ्रेजर की जगह लेंगी।
Lisa Nandy
इंडिपेंडेंट असाइलम कमिशन में भी कर चुकी हैं काम
बता दें, लिसा नंदी की स्कूलिंग पा्र्स वूड हाई स्कूल और होली क्रॉस कॉलेज में हुई है। इसके बाद उन्होंने न्यूकासल यूनिवर्सिटी से 2001 में ग्रेजुएशन किया था। लिसा नंदी के पास एक मास्टर्स डिग्री भी है जो उन्होंने लंदन यूनिवर्सिटी से ली है। लिसा ने अपने करियर के शुरुआती दिनों में लेबर पार्टी के सांसद नील गेरार्ड के साथ भी काम गिया है। लिसा नंदी ने शरणार्थियों के मुद्दे पर भी काम किया है और वह इंग्लैंड के चिल्ड्रेन कमिश्नर और इंडिपेंडेंट असाइलम कमिशन में सलाहकार की भूमिका भी निभा चुकी हैं।
बता दें कि ब्रिटेन के आम चुनावों में ऋषि सुनक के नेतृत्व वाली कंजर्वेटिव पार्टी को बड़ी हार का सामना करना पड़ा है। ऋषि सुनक ने भले ही अपना चुनाव आसानी से जीत लिया, लेकिन उनके कई मंत्रियों चुनाव हार गए। यहां तक कि पूर्व प्रधानमंत्री लिज ट्रस भी अपनी सीट नहीं बचा पाई। लेबर पार्टी ने इन चुनावों में प्रचंड जीत हासिल करते हुए 650 में से 411 सीटों पर जीत हासिल की है। वहीं, पिछले आम चुनावों में 365 सीटें हासिल करने वाली कंजर्वेटिव पार्टी इस बार सिर्फ 121 सीटों रह गई।
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