नई दिल्ली: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 20 लाख करोड़ रुपए के आर्थिक पैकेज को लेकर रविवार को 5वीं प्रेस कॉन्फ्रेंस की। वित्त मंत्री ने इस दौरान कई सेक्टर में सुधार की घोषणां कीं। साथ ही उन्होंने महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) के लिए भी बड़ा ऐलान किया। वित्त मंत्री ने कहा कि घर लौट रहे मजदूरों को परेशान न उठानी पड़े, इसलिए भारत सरकार मनरेगा के लिए 40,000 करोड़ रुपए का अतिरिक्त आवंटन करेगी।
बजट में 61,000 करोड़ का आवंटन किया गया
वित्त मंत्री ने आर्थिक प्रोत्साहन पैकेज की पांचवीं और अंतिम किस्त की घोषणा करते हुए कहा कि मनरेगा के लिए पहले ही बजट में 61,000 करोड़ रुपए का आवंटन किया गया है। अब इस आवंटन को उससे ऊपर 40,000 करोड़ रुपए बढ़ाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि बहुत सारे प्रवासी मजदूर अपने गांव जा रहे हैं इसलिए हमने कुछ प्रावधान किए हैं ताकि अगर वो भी मनरेगा में जुड़ना चाहे तो नामांकन करा सकें।
ब्लॉक में पब्लिक हेल्थ लैब बनाई जाएगी
निर्मला सीतारमण ने हेल्थ सर्विस में बदलाव पर भी बात रखी। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य पर सार्वजनिक व्यय में वृद्धि की जाएगी। उन्होंने कहा कि जमीनी स्तर पर स्वास्थ्य संस्थानों में निवेश बढ़ाया जाएगा। उन्होंने कहा कि जिला स्तर के अस्पताल में इंफेक्शन से होनेवाली बीमारी से लड़ने की तैयारी होंगी। ग्रामीण क्षेत्रों में हर ब्लॉक में पब्लिक हेल्थ लैब बनाई जाएंगी। इसके अलावा उन्होंने कहा कि डिजिटल या ऑनलाइन शिक्षा के लिए मल्टी-मोड एक्सेस का एक कार्यक्रम जल्द ही शुरू किया जाएगा।
ई-कॉन्टेंट मुहैया करवाया जाएगा
वित्त मंत्री ने शिक्षा के क्षेत्र में तकनीक के इस्तेमाल पर कहा कि दीक्षा के जरिए ई-कॉन्टेंट मुहैया करवाया जाएगा। वन क्लास, वन चैनल (पहली से 12वीं) की शुरुआत की जाएगी। रेडियो, कम्यूनिटी रेडियो से भी पढ़ाई में मदद ली जाएगी। दिव्यांगों के लिए विशेष शिक्षा सामग्री तैयार की जाएगी। शीर्ष सौ विश्वविद्यालयों को 30 मई, 2020 तक स्वचालित रूप से ऑनलाइन पाठ्यक्रम शुरू करने की अनुमति होगी। मनोचिकित्सा हेल्प मनोदर्पण नाम से प्रोग्राम चलाया जाएगा।