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शिव मंदिर से पैसे चुराए, फिर माफीनाम के साथ लौटाए कैश, लिखा- मन की शांति चली गई थी

Updated Jun 23, 2022 | 17:16 IST

तमिलनाडु के रानीपेट के पास लालपेट में एक शिव मंदिर के कलेक्शन बॉक्स पैसे चुराने वाले चोर ने एक सप्ताह बाद एक लेटर लिखकर पैसे जहां से लिए थे वहीं डाल दिए और लिखा कि चोरी करने के बाद उसके मन की शांति चली गई थी। इसलिए पैसे वापस कर रहा हूं।

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मंदिर से चोरी के धन लौटाने के लिए मजबूर होना पड़ा। (तस्वीर-istock)

चेन्नई: तमिलनाडु के रानीपेट के पास लालपेट में एक शिव मंदिर की हुंडी (कलेक्शन बॉक्स) से एक सप्ताह पहले पैसे चुराने वाले एक चोर ने कैश वापस कर दिए। इतना ही नहीं, उसने अपनी गलती के लिए माफी पत्र के साथ अपने कर्मों के लिए क्षमा मांगा। जब शिव मंदिर के अधिकारियों ने मंगलवार की शाम को हुंडी खोली, तो वे आश्चर्यचकित रह गए, जब उन्होंने दिन के प्रसाद की गिनती की तो एक 500-500 के बीस नोट के बंडल, जो कि 10,000 रुपये की राशि के थे मिले। उसके साथ बड़े करीने से हाथ से लिखे हुए एक पत्र थे। पत्र में उस चोर की माफी भी मांगी। जिसने स्वीकार किया था कि उसने पूर्णिमा के अवसर पर यानी 14 जून को मंदिर से पैसे चुराए थे। 

इस मंदिर में पूर्णिमा को एक शुभ दिन माना जाता है, और शहर के लोग बड़ी संख्या में आते हैं। चोर ने अच्छे कलेक्शन की उम्मीद में उसी दिन हुंडी खोल दी थी, यह बात चोर ने पत्र में लिखी। चोर ने पत्र में लिखा कि चोरी करने के बाद उसके मन की शांति चली गई थी। साथ ही लिखा कि उसके परिवार को असंख्य समस्याओं का सामना करना पड़ा। इसलिए, अपराधबोध महसूस करते हुए वह पैसे लौटा रहा हूं।

गांव और शिव मंदिर के अधिकारियों ने एक सप्ताह पहले स्थानीय पुलिस में हुंडी तोड़ने और पैसे गायब होने की शिकायत दर्ज कराई थी। एफआईआर के बाद सिपकोट पुलिस ने जांच के लिए मंदिर को कुछ दिनों के लिए बंद कर दिया। हालांकि, जब कई दिनों की जांच में लुटेरे के बारे में कोई सुराग नहीं मिला, तो मंदिर को सार्वजनिक दर्शन के लिए फिर से खोल दिया गया।

दूसरी ओर सिपकोट पुलिस खुश नहीं है और कहा कि जांच जारी रहेगी और वे कुछ ही समय में लुटेरे का पता लगा लेंगे। एक पुलिस अधिकारी ने आईएएनएस के हवाले से कहा कि यह अपराध की भावना नहीं है, यह केवल पुलिस जांच के कारण है और वह जानता है कि हम उसे निश्चित रूप से पकड़ लेंगे। पुलिस अधिकारी को संदेह है कि चोर एक ऐसा व्यक्ति हो सकता है जो आसपास और मंदिर को अच्छी तरह से जानता हो और इसलिए, उसे डर है कि उसे जल्द ही पकड़ लिया जाएगा।