- Kanpur Violence के बाद वायरल हो रहा है एक पोस्टर
- Poster में जेल भरो आंदोलन चलने की अपील, भारी संख्या में Police तैनात
- कानपुर हिंसा के बाद DVR से भी सबूत मिटाने की हुई कोशिश
Kanpur Violence: कानपुर हिंसा से जुड़ी बड़ी खबर सामने आई है। हिंसा वाली जगह लगे CCTV से छेड़छाड़ हुई थी और सबूत मिटाने की कोशिश की गई है। इसके अलावा DVR से भी सबूत मिटाने की कोशिश हुई। पुलिस ने जांच के लिए SIT बनाई है और पत्थरबाजों के पोस्टर जारी किए जाएंगे। इसके अलावा पुलिस गिरफ्तारी के लिए लोगों की मदद लेगी। इस बीच कानपुर हिंसा के बाद पोस्टर वायरल हो रहा है जिसमें जेल भरो आंदोलन चलाने की अपील की गई है। इलाके में भारी पुलिसबल तैनात है और कमिश्नर विजय मीणा ने खुद मोर्चा संभाला है।
हयात की तस्वीरें वायरल
कानपुर हिंसा का जिसे मास्टरमाइंड बताया जा रहा है उस हयात जफर हाशमी को लेकर बड़ा खुलासा हुआ है। खुलासा ये कि हयात कांग्रेस से जुड़ा है। और दाहिनी तरफ जो पोस्टर है वो कानपुर में जेल भरो आंदोलन की आड़ में हयात की एक बड़ी साजिश की ओर इशारा करता है। हयात की साजिश का पोस्टर से रिश्ता बताएंगे लेकिन सबसे पहले हयात के कांग्रेस कनेक्शन को दिखाती तस्वीर वायरल हो रही है। हयात के फेसबुक अकाउंट का स्क्रीनशॉट सामने आ रहा है। इसमें नीचे आने पर लिखा है पूर्व प्रदेश सचिव यूपी युवा कांग्रेस।यानी कानपुर हिंसा का मास्टरमाइंड कांग्रेस से जुड़ा रहा है, युवा कांग्रेस में प्रदेश सचिव के पद पर काम कर चुका है।
जेल भरो आंदोलन का पोस्टर
दूसरी तस्वीर में हयात के कांग्रेस कनेक्शन को और मजबूत बनाती है। इस तस्वीर में हयात कांग्रेस नेता इमरान प्रतापगढ़ी को बुके देते हुए नजर आ रहा है। तीसरी तस्वीर देखिए। इसमें हयात कांग्रेस के एक कार्यक्रम में भाषण देता दिख रहा है। पीछे बैनर लगा है जिस पर प्रियंका गांधी की तस्वीर है। अब कानपुर हिंसा का मास्टरमाइंड हयात को क्यों कहा जा रहा है वो इस पोस्टर से समझिए। जेल भरो आंदोलन का पोस्टर है.. जो हयात ने शेयर किया था।इस पोस्टर में 5 जून को सभी मुसलमानों से जेल भरो आंदोलन में सुबह साढ़े 11 बजे शामिल होने की अपील है। इसे जारी किया गया है एमएमए जौहर फैंस एसोसिएशन की तरफ से जिसका अध्यक्ष हयात है।
कई विरोध प्रदर्शन करवा चुका है हयात
कानपुर में मुस्लिम नेता के रूप में चर्चित हयात जफर हाशमी के एमएमए जौहर संघ ने सीएए और एनआरसी के विरोध में कई धरने औऱ प्रदर्शन किए। इसके अलावा मनाही के बावजूद जुलूस ए मोहम्मदी निकालने के मामले में जाजमऊ में भी जफर पर कई मुकदमे दर्ज कराए गए। कम समय में मुस्लिमों का सरपरस्त बनने की चाह में जफर भड़काऊ पोस्ट भी शेयर करता रहता है। आरोप है कि हयात ने अपनी मां और बहन को उकसा कर कानपुर के जिलाधिकारी कार्यालय में आत्मदाह करवाया था। बाद में इलाज के दौरान दोनों की मौत हो गई थी। हयात की पत्नी उसे जरूर बेगुनाह बता रही है, मगर अब तक पुलिस की जांच में हयात ही हिंसा का मास्टरमाइंड बताया जा रहा है। फिलहाल हयात पुलिस की गिरफ्त में है, देखना होगा आगे की पूछताछ में वो क्या कुछ बताता है?
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