- DDMA ने सार्वजनिक स्थानों पर छठ पूजा को लेकर पाबंदी लगा दी है
- लोगों से अपने घरों में ही पूजा व अन्य कार्यक्रम आयोजित करने को कहा गया है
- त्योहारी सीजन में कोविड-19 के फैलने की आशंका के मद्देनजर यह फैसला लिया गया है
नई दिल्ली : राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में इस बार लोगों को सार्वजनिक तौर पर छठ पूजा मनाने की अनुमति नहीं होगी। कोरोना वायरस संक्रमण को देखते हुए यह फैसला लिया गया है। हालांकि राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना वायरस संक्रमण के मामलों में कमी आई है, लेकिन त्योहारों के दौरान लोगों के एक-दूसरे से मिलने और सार्वजनिक तौर पर सामने आने से संक्रमण फैलने की रफ्तार फिर से बढ़ सकती है, जिसके मद्देनजर यह फैसला लिया गया है।
दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (DDMA) ने इस संबंध में एक आदेश जारी किया है, जिसमें सार्वजनिक स्थानों, मैदानों, ग्राउंड, मन्दिरों और घाटों पर छठ पूजा के कार्यक्रम आयोजित करने पर पाबंदी लगा दी गई है। प्राधिकरण ने लोगों से घरों में ही रहकर पूजा करने की अपील की है। कोविड-19 की तीसरी आशंका और त्योहारों को देखते हुए DDMA ने मेले आयोजित करने, फूड स्टॉल लगाने, झूला लगाने, रैली करने, जूलूस निकालने की भी अनुमति देने से इनकार किया है।
छठ पूजा इस बार 10 नवंबर को है, जिसके मद्देनजर उन घरों में अभी से तैयारियां होने लगी हैं, जहां इस पर्व को मनाया जाता है। धार्मिक आस्था का महापर्व छठ आम तौर पर नदियों-घाटों, तालाबों के किनारे सामूहिक रूप से मनाया जाता है। लेकिन कोविड-19 को देखते हुए बीते साल भी यह त्योहार अधिकांश लोगों ने अपने घरों में ही मनाया था और अब एक बार फिर लोगों से घरों में ही इस त्योहार को मनाने की अपील की गई है।
DDMA ने दिल्ली को लेकर जो एहतियाती दिशा-निर्देश जारी किए हैं, वे 15 नवंबर तक प्रभावी रहेंगे। इसके बाद हालात के आधार पर आगे का फैसला लिया जाएगा।