- मिस इंडिया प्रतियोगिता में रिक्शा चालक की बेटी बनी रनर-अप
- छोटी-छोटी चीजों के लिए तरसती रही हैं मान्या सिंह
- सोशल मीडिया पर बयां की थी अपने संघर्षों की कहानी
Miss India 2021 Runner up Manya Singh Facts: तेलंगाना में बतौर इंजीनियर काम कर चुकीं एक इंजीनियर मनासा वाराणसी को बुधवार रात वीएलसीसी फेमिना मिस इंडिया 2020 का विजेता घोषित किया गया है। हरियाणा की मनिका श्योकंद को वीएलसीसी फेमिना मिस ग्रैंड इंडिया 2020 घोषित किया गया, जबकि मान्या सिंह को प्रतियोगिता में उपविजेता रहीं।
मान्या के लिए के लिए यह जीत बेहद अहम थी क्योंकि उत्तर प्रदेश के एक रिक्शा चालक की बेटी के लिए यह जीत कई रातों और कई सालों की कड़ी मेहनत के बाद आई है। मान्या ने इससे पहले सफलता की राह पर चलते हुए सामने आए संघर्षों की कहानी कहते हुए कहा था कि वह मिस इंडिया द्वारा अपनी यात्रा के बारे में बात करने के लिए दिए गए मंच का उपयोग करके वह दूसरों को प्रेरित करना चाहती हैं।
मिस इंडिया के आधिकारिक इंस्टाग्राम हैंडल द्वारा दिसंबर में साझा किए गए पोस्ट में उन्होंने कहा, 'मेरे खून, पसीने और आंसुओं ने मैंने सपनों को आगे बढ़ाने की हिम्मत जुटाई है।'
कुशीनगर में पैदा हुईं मान्या ने अपने पोस्ट में लिखा था कि वह कठिन परिस्थितियों में पली-बढ़ीं, बिना भोजन के रातें बिताती थीं और चंद रुपए बचाने के लिए मीलों पैदल चलती थीं। नींद और मीलों पैदल चलती हैं। वह किताबों और कपड़ों के लिए तरस गईं और इस तरह मान्या ने बताया कि कैसे भाग्य उनके पक्ष में कभी नहीं रहा था।
बेटी की पढ़ाई के लिए गिरवी रखे गहने: माता-पिता ने मान्या की परीक्षा की फीस का भुगतान करने के लिए जो भी थोड़े बहुत गहने उनके थे, उन्हें गिरवी रख दिया था। मिस इंडिया के आधिकारिक इंस्टाग्राम अकाउंट की ओर से पिछले महीने साझा की गई पोस्ट में मान्या सिंह के बारे में कहा गया था, 'उनका मानना है कि शिक्षा सबसे मजबूत हथियार है, जो हर समय हमारे पास रह सकता है।'
सोशल मीडिया पोस्ट के अनुसार, मान्या ने एचएससी के दौरान सर्वश्रेष्ठ छात्र का पुरस्कार जीता था। वह स्कूल में किताब और फीस की परेशानी का सामना तो करती ही थीं, साथ ही पिता के रिक्शा चालक होने के लिए सहपाठियों द्वारा मजाक की पात्र भी बनाई जाती थीं।
किराया बचाने के लिए चलती थीं घंटों पैदल: अपने पोस्ट में, मान्या ने बताया कि वह दिन में पढ़ाई करती थीं और शाम को बर्तन धोती थीं और रात में एक कॉल सेंटर में काम करती थीं। मैंने अलग अलग जगहों तक पहुंचने के लिए घंटों पैदल चलती थीं ताकि रिक्शा का किराया बचा सकें।
मान्या का कहना है कि वह अपने भाई और माता-पिता के लिए प्रतियोगिता का हिस्सा बनीं और दुनिया को यह दिखाने के लिए कि ठान लेने पर सपने सच होते हैं। वह आगे भी मैनेंजमेंट स्टडीज से जुड़ी अपनी पढ़ाई जारी रखना चाहती हैं।
द मिस इंडिया पेजेंट प्रतियोगिता का आयोजन फेमिना द्वारा किया गया है, जो टाइम्स समूह द्वारा प्रकाशित एक महिला आधारित मैगजीन है। इंडिया टाइम्स पर प्रकाशित एक लेख में, ग्रुप ने पेजेंट के तीन विजेताओं की घोषणा की है।