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Coronavirus Myths vs Facts: कोरोना वायरस को लेकर लोगों के बीच फैल रहे हैं ये भ्रम, यहां जानें इसकी पूरी सच्चाई

Updated Mar 12, 2020 | 12:45 IST

कोविड-19 और कोरोना वायरस का कहर अब पूरी दुनिया में देखने को मिल रहा है। जिसमें भारत भी शामिल है। वहीं, देशवासियों से अपील की जा रही है कि अफवाहों और मिथकों पर ध्यान न दें।

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Coronavirus Myths vs Facts

कोरोना वायरस का असर सबसे पहले चीन के वुहान शहर में देखने को मिला था। चीन के बाद अब इस बीमारी का प्रकोप कई और देशों में भी देखने को मिल रहा है। इसमें भारत भी शामिल हैं। बता दें कि कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप को देखकर लोगों के बीच इसे लेकर चिंता बढ़ गई है। भारत सरकार ने देशवासियों से अपील की है कि वो ज्यादा पैनिक न हो। वहीं दूसरी तरफ कोरोना को लेकर कई भम्र फैल रहे हैं।

कोरोना के कहर को देखते हुए भारतीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय ने लोगों को आश्वस्त किया है। भारत सरकार ने देश के लोगों को इस बीमारी के खिलाफ एकजुट होने के लिए कहा है। इसके साथ ही वह कोविड-19 को लेकर लोगों के बीच जागरुकता भी फैला रहे हैं। बता दें कि मेट्रो स्टेशन पर अनाउसमेंट के साथ-साथ, टीवी विज्ञापन आदि के जरिए से लोगों के बीच लगातार जागरुकता फैलाई जा रही है। वहीं कोरोना वायरस को लेकर फैल रहे मिथक और भम्र की पूरी सच्चाई टाइम्स नाऊ पर जान सकते हैं।

क्या है कोरोना वायरस

कोरोना वायरस(कोविड-19) एक वायरल इंफेक्शन हैं और ये एक इंसान से दूसरे इंसान में फैल सकता है। कोरोना खांसने और छींकने से फैलता है। WHO के अनुसार कोरोना फैलने वाले वायरस हैं। इनकी वजह से सांस की बीमारी से लेकर मतली, सांस लेने में तकलीफ, कंजेशन, बुखार जैसे लक्षण दिखाई देते हैं। इसके अलावा यह किसी भी रूप में पीड़ित को प्रभावित कर सकता है। इससे सामान्य सर्दी से लेकर गंभीर बीमारियों जैसे मध्य पूर्व रेस्पिरेटरी सिंड्रोम (MERS) और सीवियर एक्यूट रेस्पिरेटरी सिंड्रोम (SARS) तक हो सकता है। समय पर इलाज नहीं हुआ तो यह निमोनिया में भी तब्दील हो जाता है।
 

क्या है कोविड 19 या nCoV2019?

चीन के वुहान शहर में शुरू में कई केस सामने आए थे, जहां लोग सर्दी-जुकाम या फ्लू जैसी समस्या से परेशान थे। जिसके बाद इस बीमारी की संख्या लोगों में बढ़ती चली गई। (WHO)ने बाद में इस बीमारी के बारे में सूचित किया। 7 जनवरी को चीन के अधिकारियों द्वारा कोविड-19 के रूप में इसकी पहचान की गई थी। धीरे-धीरे इस बीमारी का खतरा लोगों में बढ़ता चला गया। चीन के वुहान शहर से लोगों का आना-जाना बंद कर दिया गया है। लेकिन इस बीच कोराना का प्रकोप बाकी दूसरे देशों तक पहुंच चुका था। 
 

क्या COVID-19 से बचने के लिए मास्क पहनना चाहिए?

कोरोना के खतरे को देखते हुए लोगों ने अधिक मात्रा में मास्क खरीद लिए हैं। इसकी वजह से जिन लोगों को मास्क की जरूरत है उन्हें सही समय पर मुहैया नहीं हो पा रहे हैं। जिस वजह से कोरोना का खतरा और बढ़ गया हैं। चिकित्सा अधिकारियों के मुताबिक अगर आप बीमार व्यक्ति की देखभाल कर रहे हैं या फिर खुद बीमार हैं तो ही मास्क पहने। वहीं (WHO) ने समझदारी के साथ मास्क का इस्तेमाल करने का आग्रह किया है।

क्या कोविड-19 से बचने के लिए एंटीबायोटिक्स का उपयोग कर सकते हैं

कोविड-19 का बचाव एंटीबायोटिक्स से नहीं कर सकते हैं। एंटीबायोटिक्स से सिर्फ बैक्टेरियल इंफेक्शन से बचाव कर सकते हैं। इसे भी सिर्फ डॉक्टर के निर्देशों के अनुसार ही खा सकते हैं। कोविड-19 वायरस की वजह से होता है इसलिए एंटीबायोटिक्स लेना सही उपाय नही हैं।, बल्कि इसके इस्तेमाल से व्यक्ति का ऑर्गन भी प्रभावित हो सकता है।
 

क्या कोविड-19 से बचने के लिए इंजेक्शन, दवाई या इलाज है

कोविड19 से लड़ने के लिए (WHO) लगातार कोशिश कर रही है। लेकिन अब तक इससे बचाव करने के लिए इंजेक्शन, दवाई या फिर कोई इलाज सामने नहीं आया है। पिछले कुछ वक्त से इससे लड़ने के लिए डॉक्टर्स लगातार कोशिश कर रहे हैं। लेकिन अभी तक सफलता हासिल नहीं हुई है। (WHO) के मुताबिक अगर इस बीमारी के लक्षण किसी भी व्यक्ति में देखने को मिल रहे हैं तो उसे तुरंत अस्पताल में भर्ती कराया जाना चाहिए। ऐसे हालात में घबराए या जल्दबाजी न करें।

COVID -19 से बचने का सबसे प्रभावशाली तरीका

कोरोना के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए लगातार लोगों में यह जागरुकता फैलाई जा रही है। 
सबसे पहले अपने हाथों को साफ पानी से धोएं।
इसके बाद हैंडवॉश या साबुन को अच्छी तरह से उंगलियों के बीच नाखूनों और हाथ के पीछे लगाएं।
अगर आपके पास साबुन नहीं है तो अल्कोहल वाले सैनिटाइजर का इस्तेमाल करें।
हाथों को करीब 20 सेकेंड तक स्क्रब करें।
इसके बाद अपने हाथों को एक बार फिर साफ पानी से धोएं।
इसके बाद हाथों को सूखे और साफ कपड़े से पोछ लें।

कोरोना वायरस या COVID-19 के शुरुआती लक्षणों को न करें नजरअंदाज

कोरोना वायरस की वजह से मरीजों को सांस लेने में परेशानी होती है। जैसे ही आपको खुद में यह लक्षण दिखने लगे तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए। सांस लेने में परेशानी या फिर बुखार, खांसी और सर्दी जैसे लक्षण दिखने लगे तो तुरंत डॉक्टर के पास जाना चाहिए। इलाज के दौरान मास्क का इस्तेमाल जरूर करें। रोजाना अपने शरीर के तापमान के मापते रहना चाहिए।
 

कोरोना के लक्षण दिखने पर सबसे पहले यहां करें कॉल

स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय ने लोगों के बीच अलर्ट जारी किया है। इसके मुताबिक अगर किसी में भी कोरोना के लक्षण दिख रहे हैं तो वह सबसे पहले उनके द्वारा जारी हेल्प लाइन नंबर पर 011-23978046 कॉल कर सकते हैं। हेल्प लाइन नंबर के अलावा ncov2019@gmail.com पर ईमेल भी कर सकते हैं। यह नंबर 24 घंटे तक लोगों के लिए उपलब्ध है।
 

किस उम्र के लोग हैं कोरोना वायरस से सबसे ज्यादा प्रभावित

दुनियाभर में बहुत से लोग कोरोना वायरस की चपेट में आ गए हैं। इसमें लगभग सभी उम्र के लोग शामिल हैं, लेकिन बुजुर्ग इस बीमारी की चपेट में अधिक आए हैं। जिन्हें दिल की बीमारी या फिर कैंसर और डायबटीज है वो इसकी चपेट में आसानी से आ रहे हैं। 
 

कोरोना वायरस सतह या जमीन पर कितने दिन तक जीवित रह सकता है ?

कोरोना वायरस को लेकर कहा जा रहा है कि यह वायरस प्लास्टिक की सतह पर 9 दिन तक जिंदा रह सकता है। इसलिए अपने मोबाइल को भी किसी साफ जगह पर ही रखना चाहिए। डिसइन्फेक्टेंट से उसे साफ करते रहना चाहिए ताकि उससे संक्रमण न फैले। इसके अलावा एल्कोहल वाले सैनिटाइजर का भी इस्तेमाल करते रहें।