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फर्टिलिटी पर बुरा असर डालती हैं रोजमर्रा की ये पांच आदतें, जल्द छोड़ दें वरना होंगे बुरे परिणाम

Updated May 08, 2022 | 13:10 IST

Bad Habits For Fertility: खराब लाइफस्टाइल और खराब खान-पान का असर फर्टिलिटी पर भी पड़ता है, जिससे आपको माता-पिता बनने में परेशानी हो सकती है। इंफर्टिलिटी की समस्या के लिए आपकी कुछ खराब आदतें जिम्मेदार होती हैं, जिन्हें समय रहते सुधार लेना चाहिए।

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फार्टिलिटी अब होगी आसान
मुख्य बातें
  • गलत खानपान आपको बनाता है कमजोर
  • इंफर्टिलिटी के लिए स्ट्रेस भी है जिम्मेदार
  • स्मोकिंग और एल्कोहल का सेवन

Bad habits for Fertility: आजकल की भागदौड़ भरी जिंदगी के चलते लोग अपनी सेहत का अच्छे से ध्यान नहीं रख पाते। सेहत के प्रति ये लापरवाही कई बार इंफर्टिलिटी का कारण बनती है। ऐसे में लोगों को माता-पिता बनने में दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। एक सर्वे में भी साफ हुआ है कि पिछले कुछ सालों में भारतीयों में इंफर्टिलिटी प्रभावित हुई है, जिससे प्रजनन दर काफी घट गई है।

इंफर्टिलिटी की इस समस्या के लिए खराब खान-पान और कई खराब आदतें जिम्मेदार हैं। कई बार काम का स्ट्रेस, देर रात तक लैपटॉप या कंप्यूटर पर काम करना, पर्याप्त नींद न मिलने की वजह से भी फर्टिलिटी प्रभावित होती है, इन आदतों को समय रहते सुधार लेना चाहिए, नहीं तो आपके माता-पिता बनने का सपना अधूरा रह सकता है। 

आपके माता-पिता बनने के सपने को चकनाचूर कर सकती हैं ये खराब आदतें-

गलत खानपान आपको बनाता है कमजोर
शरीर को स्वस्थ और एक्टिव रखने के लिए पौष्टिक आहार जरूरी होता है, लेकिन आजकल लोग फास्ट फूड और जंक फूड ज्यादा खाते हैं, जिससे शरीर को जरूरी पोषक तत्व नहीं मिल पाते। इससे पुरुषों में स्पर्म काउंट और महिलाओं में एग्स की कमी हो जाती है, जो इंफर्टिलिटी का कारण बनते हैं। 

देर तक फोन और कंप्यूटर का इस्तेमाल
सर्वे में ये साफ हुआ है कि जो लोग कंप्यूटर पर ज्यादा काम करते हैं या फोन का ज्यादा इस्तेमाल करते हैं, उनमें इंफर्टिलिटी की समस्या ज्यादा देखने को मिलती है। हेल्थ एक्सपर्ट्स का भी ये कहना है कि मोबाइल और लैपटॉप से निकलने वाली रेज़ फर्टिलिटी के लिए हानिकारक होती हैं। ये पुरुषों में स्पर्म काउंट को 20 से 30 प्रतिशत तक कम कर देती हैं।

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इंफर्टिलिटी के लिए स्ट्रेस भी है जिम्मेदार
डाक्टर्स बताते हैं कि जरूरत से ज्यादा तनाव की स्थिति फर्टिलिटी पर बुरा असर डालती है। दरअसल, स्ट्रेस से ऐसे हार्मोन्स प्रभावित होते हैं, जो शुक्राणु और अण्डाणु बनाते हैं। ज्यादा तनाव की स्थिति में महिलाओं में कई न्यूरोकेमिकल बदलाव होते हैं, जो इंफर्टिलिटी को बढ़ावा देते हैं। इसलिए तनाव से जितना हो सके, बचना चाहिए।  

स्मोकिंग और एल्कोहल का सेवन
इंफर्टिलिटी के लिए स्मोकिंग और एल्कोहल का सेवन भी जिम्मेदार है। वैसे तो ये सभी जानते हैं कि ये दोनों चीजें स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हैं, लेकिन फिर भी लोग इनका सेवन करते हैं। इन दोनों के सेवन से जहां पुरुषों का स्पर्म काउंट कम होता है, वहीं महिलाओं को कंसीव करने में दिक्कत आती है और यदि कंसीव हो भी जाए तो गर्भपात और सर्वाइकल कैंसर होने का खतरा बढ़ जाता है। 

नींद की कमी से भी होती है इंफर्टिलिटी
स्वस्थ शरीर के लिए 7-8 घंटे की नींद जरूरी होती है, लेकिन आजकल लोगों में देर तक जागने की आदत बन गई है, जिससे उनकी नींद पूरी नहीं हो पाती। नींद पूरी न होने की वजह से हार्मोन्स का बैलेंस बिगड़ जाता है, जो इंफर्टिलिटी का कारण बनती है। इस आदत को जितनी जल्दी हो सके सुधार लेना हेल्थ के लिए बहुत जरूरी होता है।

(डिस्क्लेमर: प्रस्तुत लेख में सुझाए गए टिप्स और सलाह केवल आम जानकारी के लिए हैं और इसे पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जा सकता। किसी भी तरह का फिटनेस प्रोग्राम शुरू करने अथवा अपनी डाइट में किसी तरह का बदलाव करने से पहले अपने डॉक्टर से परामर्श जरूर लें।)