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स्पेशल ट्रेन चलाने पर नीतीश कुमार का केंद्र को धन्यवाद, बोले-मजदूरों को टिकट का पैसा नहीं देना होगा

Nitish Kumar thanks center for starting special trains to evacuate stranded people
Updated May 04, 2020 | 14:17 IST

Nitish Kumar thanks center for starting special trains: नीतीश कुमार ने कहा कि दूसरे राज्यों से आने वाले बिहार के लोगों को क्वरंटाइन में रखा जाएगा। लोगों को किसी भी तरीके की परेशानी नहीं होने दी जाएगी। 

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Nitish Kumar thanks center for starting special trains to evacuate stranded peopleNitish Kumar thanks center for starting special trains to evacuate stranded people
तस्वीर साभार:&nbspPTI
नीतीश कुमार ने केंद्र सरकार को दिया धन्यवाद।
मुख्य बातें
  • स्पेशल ट्रेनों से अपने गृह राज्य पहुंचने लगे हैं दूसरे प्रदेशों में फंसे प्रवासी मजदूर
  • बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने स्पेशल ट्रेन चलाए जाने पर केंद्र को धन्यवाद दिया
  • मजदूरों से पैसा लिए जाने की बात सामने आने पर रेलवे ने जारी किया स्पष्टीकरण

पटना : बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने देश भर में फंसे लोगों को निकालने के लिए स्पेशल ट्रेन चलाने पर केंद्र सरकार को धन्यवाद दिया है। बिहार के मुख्यमंत्री ने कहा कि किसी प्रवासी मजदूर को अपने रेल टिकट का पैसा नहीं देना होगा। दूसरे राज्यों से आने वाले बिहार के लोगों को क्वरंटाइन में रखा जाएगा। लोगों को किसी भी तरीके की परेशानी नहीं होने दी जाएगी। 

प्रवासी मजदूरों को निकालने के लिए चल रहीं स्पेशल ट्रेनें
लॉकडाउन में देश के अलग-अलग हिस्सों में फंसे प्रवासी मजदूरों को निकालने के लिए गृह मंत्रालय ने गत दिनों अपनी नई गाइडलाइन जारी की। इन नई गाइडलाइन के बाद राज्यों ने बसें के जरिए दूसरे प्रदेशों में फंसे अपने नागरिकों को निकालने की प्रक्रिया शुरू की। इस बीच, कई राज्यों ने मजदूरों को वापस लाने के लिए स्पेशल ट्रेन चलाने की मांग की। राज्यों ने कहा कि उनके यहां से लाखों की संख्या मजदूर दूसरे राज्यों में फंसे हैं और उन्हें केवल बस के जरिए निकालना संभव नहीं है। राज्यों के बढ़ती इस मांग को देखते हुए सरकार ने रेलवे को सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कराते हुए स्पेशल ट्रेनें चलाए जाने का निर्देश दिया।

तेलंगाना से झारखंड के लिए रवाना हुई पहली स्पेशल ट्रेन
गत एक मई को मजदूरों को लेकर पहली ट्रेन तेलंगाना से झारखंड के लिए रवाना हुई। इस विशेष ट्रेन में 1200 प्रवासी मजदूर सवार अपने गृह राज्य पहुंचे। इस ट्रेन में 24 बोगियां थीं। यह विशेष ट्रेन सुबह चार बजकर 50 मिनट पर लिंगमपल्ली से झारखंड के हटिया के लिए रवाना हुई। इसके बाद रेलेव ने कोटा और अन्य स्थानों से विशेष ट्रेनें चलाई हैं। इस बीच, प्रवासी मजदूरों से यात्रा के लिए टिकट के पैसे लेने की बात सामने आई जिस पर राजनीति शुरू हो गई। कांग्रेस का कहना है कि वह प्रवासी मजदूरों के टिकट के पैसे का भुगतान करेगी। 

टिकट के लिए पैसा लेने पर रेलवे का स्पष्टीकरण
वहीं, टिकट के लिए पैसा लेने की बात सामने आने के बाद रेलवे ने स्पष्टीकरण जारी किया है। रेलवे ने सोमवार को कहा कि वह यात्रियों से पैसे नहीं ले रही है। रेलवे केवल स्टैंडर्ड फेयर जो कि केवल 15 प्रतिशत है, वह राज्य सरकारों से ले रही है। उसकी तरफ से प्रवासी मजदूरों के लिए टिकट नहीं बेचा जा रहा है। वह ट्रेनों में उन्हीं यात्रियों को सवार होने दे रही है जिनका नाम राज्य सरकारों द्वारा उपलब्ध कराई गई सूची में शामिल है।

स्पेशल ट्रेन से अपने गृह प्रदेश पहुंच रहे प्रवासी
लॉकडाउन के दौरान कई राज्यों ने दूसरे प्रदेशों से अपने नागरिकों को निकालने की प्रक्रिया जब शुरू की तो उस समय नीतीश ने कहा कि केंद्र जब तक लॉकडाउन के नियमों का संशोधन नहीं करता तब तक वह अपने नागरिकों को अन्य राज्यों से नहीं निकालेंगे। हालांकि, इसकी अनुमति मिल जाने के बाद उनकी सरकार की तरफ से ट्रेन चलाने की मांग रखी गई। बिहार सरकार के मंत्री संजय झा ने कहा कि दूसरों राज्यों में बिहार के मजदूर और छात्र बड़ी संख्या में हैं। बसों के जरिए यदि हम छात्रों और मजदूरों को निकालते भी हैं तो यह केवल एक तिहाई होगा। 

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