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चक्रवात ताउते में पी 305 नाव फंसे लोगों सर्च और रेस्क्यू जारी, अभी तक 60 लोगों को बचाया गया

Updated May 18, 2021 | 00:09 IST

भीषण चक्रवाती तूफान में ताउते की वजह से बॉम्बे हाई इलाके में हीरा ऑयल फील्ड्स तट से नौका पी 305 काफी दूर चला गया। आईएनएस कोच्चि ने सर्च और बचाव अभियान शुरू किया है।

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चक्रवात ताउते का कहर

मुंबई : चक्रवात ताउते का कहर लगातार बढ़ता ही जा रहा है।  भीषण चक्रवाती तूफान ताउते अरब सागर के तटीय इलाके में लोगों की मुश्किलें बढ़ा दी है। 273 यात्रियों वाली नौका मुंबई तट से दूर चली गई हैं। नौसेना के प्रवक्ता ने बताया कि बॉम्बे हाई इलाके में हीरा ऑयल फील्ड्स तट से नौका पी 305 के दूर जाने की सूचना मिलने पर आईएनएस कोच्चि को बचाव एवं तलाश अभियान के लिए भेजा गया है। नौका पर 273 लोग सवार थे। ऑयल फील्ड मुंबई से करीब 70 किलोमीटर दक्षिण पश्चिम में है। उन्होंने बताया कि भारत के पश्चिमी तट पर तबाही मचा रहे चक्रवात ताउते के मद्देनजर मानवीय सहायता के लिए अन्य कई जहाजों और आपदा राहत (एचएडीआर) को तैयार रखा गया है। प्रवक्ता ने बताया कि अन्य त्राहिमाम संदेश नौका जीएएल कंस्ट्रक्टर से मिला जिस पर 137 यात्री सवार हैं। यह नौका मुंबई से आठ समुद्री मील की दूरी पर है। आईएनएस कोलकाता को सहायता के लिए भेजा गया है।

अत्यंत चुनौतीपूर्ण समुद्री परिस्थितियों में 17 मई की रात 11 बजे तक बरजे पी305 से कुल 60 लोगों को रेस्क्यू किया गया। आईएनएस कोच्चि द्वारा 42 और अपतटीय सपोर्ट पोत एनर्जी स्टार द्वारा 18 लोगों का रेस्क्यू किया गया। शेष चालक दल के लिए खोज और बचाव (एसएआर) अभियान रात भर जारी रहेगा। 

आईएनएस कोच्चि और आईएनएस कोलकाता बॉम्बे हाई में हीरा ऑयल फील्ड्स से लापता हुए 'पी305' नाव के लिए सर्च और बचाव कार्यों के लिए घटनास्थल पर हैं। बेहद खराब मौसम और समुद्र की तेज लहरों के बीच ऑपरेशन किए जा रहे हैं।

अरब सागर में चक्रवात की वजह से डावांडोल हुए भारतीय टगबोट 'कोरोमंडल सपोर्टर IX' के फंसे हुए दल को बचाने के लिए एक भारतीय जहाज़ द्वारा सहायता मांगने पर हुई त्वरित कार्रवाई में आज 17 मई की सुबह एक नौसैनिक हेलीकॉप्टर भेजा गया, यह टगबोट कर्नाटक में मैंगलोर के उत्तर पश्चिम में फंसा हुआ था। चक्रवात ताउते के कारण उथल-पुथल हुए समुद्र में फंसे इस पोत के मशीनरी वाले हिस्सों में पानी भर गया था, जिसकी वजह से यह संचालन के लिए अक्षम और बिना विद्युत आपूर्ति के हो गया था, इतना ही नहीं इसका चालक दल भी सहायता रहित हो गया था। नौकाओं द्वारा बचाव के असफल प्रयासों के बाद मदद मांगे जाने पर 17 मई 2021 की सुबह भारतीय नौसेना की सहायता उपलब्ध कराई गई। चालक दल के चार सदस्यों को सुरक्षित बचा लिया गया है।

बॉम्बे हाई एरिया में हीरा ऑयल फील्ड से दूर फंसे 273 कर्मियों के साथ एक बजरे (नौका) 'पी 305' की सहायता के लिए अनुरोध प्राप्त होने पर, आईएनएस कोच्चि को स्थिति का आकलन करने तथा आवश्यकतानुसार मदद करने के लिए तेजी से भेजा गया। आईएनएस तलवार को भी रवाना होने के लिए तैयार किया गया।

मुंबई से लगभग 8 समुद्री मील पर 137 लोगों के साथ बजरे 'जीएएल कंस्ट्रक्टर' से सहायता के लिए प्राप्त एक अन्य एसओएस पर प्रतिक्रिया के फलस्वरूप आईएनएस कोलकाता को भी मदद पहुंचाने के लिए रवाना किया गया है।

चक्रवात ताउते से निपटने की तैयारियों को जारी रखते हुए भारतीय नौसेना के 11 गोताखोर दल तैयार रखे गए हैं, ताकि तूफान प्रभावित राज्‍यों से अनुरोध प्राप्‍त होने की स्थिति में इनकी सेवाएं उपलब्ध कराई जा सकें। त्वरित कार्रवाई और सहायता कार्यों के लिए बारह बाढ़ राहत दलों एवं चिकित्सा दलों को तैनात किया गया है। चक्रवात के बाद जरूरत पड़ने पर तत्काल ढांचागत मरम्मत करने के लिए मरम्मत एवं बचाव दल का भी गठन किया गया है।

कई पोतों को प्रभावित क्षेत्रों में आवश्यकतानुसार तत्काल सहायता एवं राहत सामग्री पहुंचाने के लिए तैयार रहने को कहा गया है। कुछ पोत पश्चिमी समुद्र तट पर खराब मौसम के कारण फंसी मछली पकड़ने वाली नौकाओं/छोटी नौकाओं की मदद के लिए तैयार हैं। नौसेना के समुद्री टोही विमान भी मछुआरों को चक्रवात की लगातार जानकारी और चेतावनी देने के लिए तैनात हैं।

जैसे कि पहले जानकारी दी गई थी, केरल के कोच्चि में भी नौसेना टीमों द्वारा राहत अभियान चलाया गया था। बाढ़ के कारण फंसे स्थानीय लोगों को सहायता प्रदान करने के लिए दक्षिणी नौसेना कमान से त्वरित कार्रवाई दलों के साथ तीन डाइविंग टीमों को चेल्लनम (कोच्चि) में तैनात किया गया। इन टीमों ने राहत शिविरों में भोजन, पानी और अन्य आवश्यक सामान पहुंचाया, जो भारी जलभराव के कारण वाहनों के लिए दुर्गम कार्य था। फंसे हुए लोगों को जेमिनी रबर क्राफ्ट द्वारा उनके घरों से एर्णाकुलम और चेल्लनम में ऊंचाई वाले स्थानों पर बने राहत शिविरों में ले जाया गया। नौसेना की टीम ने कोर्टिना हॉस्पिटल चेल्लनम को भी पानी और अन्य जरूरी सामान मुहैया कराया जो जलजमाव के कारण पंहुचा पाना पूरी तरह से दुर्गम कार्य था।

भारत मौसम विज्ञान विभाग, पुणे के पर्यावरण अनुसंधान और सेवा, एसआईडी प्रमुख के. एस. होसालिलकर ने ट्वीट किया कि ताउते चक्रवात अब अत्यंत तीव्र चक्रवाती तूफान का रूप ले चुका है। मुंबई में 160 किलोमीटर की रफ्तार और गुजरात में 290 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चल रही हैं। उत्तरी कोंकण, महाराष्ट्र के तटवर्ती क्षेत्र और गुजरात में ध्यान रखें।

मुंबई महानगर क्षेत्र विकास प्राधिकरण (एमएमआरडीए) ने बताया कि एहतियात के तौर पर शहर में दिन भर के लिए मोनो रेल सेवा स्थगित कर दी गयी है। एमएमआरडीए ने कहा कि यात्रियों की सुरक्षा के लिए यह त्वरित फैसला किया गया है। उन्होंने बताया कि चक्रवात के प्रभाव से हुई बारिश के कारण शहर में कहीं भी जलजमाव नहीं हुआ, कई जगहों पर पेड़ उखड़ गये और अब तक जानमाल के नुकसान की कोई सूचना नहीं है।

सोमवार की सुबह चक्रवात के महाराष्ट्र के तट पर पहुंचने और मुंबई के करीब पहुंचने पर छत्रपति शिवाजी महाराज अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डा ने पूर्वाह्न 11 बजे से दिन में दो बजे तक संचालन स्थगित करने की घोषणा की। पास के रायगढ़ जिला में रेड अलर्ट और मुंबई में ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है।

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