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Opinion India Ka: दुनिया का मौसम ऊटपटांग क्यों हो गया? मई में असम पर भीषण बाढ़ की मार,पाकिस्तान में भी प्रचंड गर्मी से हाहाकार

Updated May 20, 2022 | 00:06 IST

world's weather: दुनिया के मौसम में अजब से बदलाव हो रहे हैं, एक ही समय में कहीं भीषण गर्मी का कहर है तो कहीं बारिश से त्राहि-माम मचा हुआ है...

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दुनिया का मौसम ऊटपटांग क्यों हो गया?

मई के महीने में असम पर भीषण बाढ़ की मार... भारत के दूसरे राज्यों में भयानक गर्मी का कहर...पाकिस्तान में भी प्रचंड गर्मी से हाहाकार...पूर्वी अफ्रीका पर सूखे का जानलेवा वार....दक्षिण अफ्रीका पर सैलाब का संकट...2015 से 2021 तक पिछले 7 सालों के सबसे गर्म साल होने का रिकॉर्ड...आखिर ये मौसम को हुआ क्या...क्यों दुनिया के कई देशों का मौसम ऊट-पटांगा हो चला....मौसम में ये बदलाव कैसे हुआ ? क्या मौसम की ये करवट किसी बड़े कुदरती खतरे का संकेत है।

जलवायु परिवर्तन पर संयुक्त राष्ट्र के विश्व मौसम विज्ञान संगठन (WMO) ने 'स्टेट ऑफ द ग्लोबल क्लाइमेट इन 2021' रिपोर्ट जारी की है....ये रिपोर्ट ऐसे वक्त में आई है जब मौसम में हो रहे खतरनाक बदलाव से करोड़ों लोग प्रभावित हुए हैं।

इस रिपोर्ट में धरती और मौसम के तापमान में हो रहे चार खतरनाक बदलावों की तरफ संकेत किया गया है...रिपोर्ट की कई बातें दुनिया को चिंता में डालने वाली हैं....रिपोर्ट के मुताबिक

ग्रीन हाउस गैस कॉन्सनट्रेशन

समुद्र के जलस्तर में इजाफा

महासागर का बढ़ता तापमान

समुद्र के पानी में बढ़ता एसिड 

लगातार नए-नए रिकॉर्ड बना रहा है...यूएन एजेंसी के मुताबिक इंसान कुदरत के साथ जो खिलवाड़ कर रहा है उससे धरती, महासागर के तापमान में खतरनाक बदलाव हो रहा है....ये कभी बाढ़, कभी सूखा और कभी गर्मी की शक्ल में दुनिया के सामने आ रहा है....रिपोर्ट की मानें तो आने वाले वक्त में इसके और भी कई गंभीर परिणाम सामने आ सकते हैं, जैसे-

कुछ वक्त बाद एक और गर्म साल होने का रिकॉर्ड टूट सकता है

आने वाले साल और गर्म हो सकते हैं

ग्लेशियरों में तेजी से पिघलाव होगा जिसे उलट पाना मुमकिन नहीं होगा...

2 सालों में महासागरों के गर्म होने की रफ्तार बढ़ी है

समुद्र का जलस्तर साल 2021 में रिकॉर्ड ऊंचाई पर जा पहुंचा है

साल 2013 से 2021 के दौरान ये 4.5 मिलीमीटर सालाना की दर से बढ़ा है

1993 से 2002 के मुकाबले जलस्तर में बढ़ोतरी की ये दोगुनी रफ्तार है

मौसम की मनमर्जियों का सीधा असर आम आदमी पर पड़ा है....कभी तूफान से तबाही हो रही है, कभी बाढ़ कहर बरपा रही है तो कभी गर्मी इंसान का जीना मुहाल कर रही है...इस वजह से सैकड़ों अरब डॉलर का नुकसान तक हो चुका है....कुल मिलाकर रिपोर्ट का निष्कर्ष ये है कि अगर वक्त रहते इंसान ने कुदरत के साथ खिलवाड़ बंद नहीं किया तो उसे इसका गंभीर नतीजा भुगतना पड़ सकता है।

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