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Russia Ukraine war: UNHRC की बैठक में भी वोटिंग से दूर रहा भारत, 32 देशों ने स्वतंत्र जांच के लिए किया वोट

Updated Mar 04, 2022 | 18:24 IST

रूस और यूक्रेन के बीच जारी जंग के नौवें दिन संयुक्‍त राष्‍ट्र मावाधिकार परिषद में एक प्रस्‍ताव लाया गया। इसमें रूस-यूक्रेन संकट की जांच के लिए एक स्‍वतंत्र जांच आयोग गठित करने की बात कही गई। 32 देशों ने इसके पक्ष में मतदान किया, जबकि भारत सहित 13 देश मतदान से दूर रहे।

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तस्वीर साभार:&nbspAP
रूस-यूक्रेन के बीच युद्ध का आज नौवां दिन है, जब रूसी हमले और तेज हुए हैं

जिनेवा/संयुक्त राष्ट्र : रूस-यूक्रेन के बीच युद्ध को आज नौ दिन हो गए हैं और इस बीच यूक्रेन के खिलाफ रूस के हमले और तेज हुए हैं। रूसी बलों ने यूक्रेन के परमाणु संयंत्र पर भी हमले किए हैं, जिसके बाद रूस के खिलाफ वैश्विक लामबंदी और तेज होती जा रही है। यूक्रेन संकट पर संयुक्‍त राष्‍ट्र मानवाधिकार परिषद (UNHRC) में शुक्रवार को एक प्रस्‍ताव लाया गया, जिसमें यूक्रेन के खिलाफ रूस की सैन्य कार्रवाई को लेकर तत्काल एक स्वतंत्र अंतरराष्ट्रीय जांच आयोग स्थापित करने का फैसला लिया गया। इस प्रस्‍ताव के पक्ष में 32 वोट पड़े, जबकि 13 देशों ने इसमें हिस्‍सा नहीं लिया। इसमें भारत भी शामिल रहा।

UNHRC के 47 सदस्य हैं, जिन्‍हें यूक्रेन में मानवाधिकारों की स्थिति पर एक मसौदा प्रस्ताव पर वोट करना था। 32 सदस्‍यों ने रूस-यूक्रेन संकट की जांच के लिए एक स्‍वतंत्र जांच आयोग गठित करने के पक्ष में वोट किया तो दो वोट इसके खिलाफ भी पड़े। इनमें से एक वोट रूस का ही रहा तो दूसरा वोट इरिट्रिया ने किया। वहीं भारत, चीन, पाकिस्तान, सूडान, वेनेजुएला सहित 13 देशों ने मतदान में हिस्सा नहीं लिया। जिन देशों ने प्रस्ताव के पक्ष में वोट किया, उनमें अमेरिका, फ्रांस, जर्मनी, जापान, नेपाल, संयुक्त अरब अमीरात (UAE), ब्रिटेन सहित अन्‍य देश शामिल रहे।

वोटिंग के बाद UNHRC की ओर से एक ट्वीट में कहा गया, 'यूक्रेन के खिलाफ रूस की सैन्य कार्रवाई के परिणामस्वरूप मानवाधिकार परिषद ने तत्काल एक स्वतंत्र अंतरराष्ट्रीय जांच आयोग गठित करने का निर्णय लिया है।'

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भारत ने UNSC, महासभा में भी नहीं की थी वोटिंग

यहां गौर हो कि भारत ने इससे पहले संयुक्‍त राष्‍ट्र सुरक्षा परिषद में लाए गए दो प्रस्‍तावों और 193 सदस्‍यीय महासभा में भी मतदान में हिस्‍सा नहीं लिया था। सुरक्षा परिषद के पांच स्‍थाई सदस्‍य हैं, जबकि भारत इसके 10 अस्‍थाई सदस्‍यों में शामिल है, जिनका चयन दो वर्षों के लिए होता है। संयुक्‍त राष्‍ट्र महासभा में वोटिंग बुधवार (2 मार्च) को हुई थी, जिसमें यूक्रेन की संप्रभुता, स्वतंत्रता, एकता व क्षेत्रीय अखंडता के प्रति प्रतिबद्धता की पुन: पुष्टि के लिए 141 सदस्‍यों ने वोट किया, जबकि पांच देशों ने रूस का समर्थन करते हुए प्रस्‍ताव के खिलाफ मतदान किया था। भारत सहित 35 सदस्‍यों ने मतदान में हिस्‍सा नहीं लिया था।