क्या क्रिप्टो पर टैक्स लगाने से इसे मिल गई है कानूनी मान्यता? जानें वित्ती मंत्री ने क्या कहा

बिजनेस
डिंपल अलावाधी
Updated Feb 11, 2022 | 18:05 IST

Cryptocurrency latest news: गुरुवार को RBI के गवर्नर शक्तिकांत दास ने भी क्रिप्टोकरेंसी पर अपना रुख दोहराया था। उन्हें कहा था कि, 'क्रिप्टोकरेंसी हमारी वित्तीय और व्यापक आर्थिक स्थिरता के लिए खतरा है।'

Finance Minister Nirmala Sitharaman on whether cryptocurrency is legal in India or not
क्या क्रिप्टो पर टैक्स लगाने से इसे मिल गई है कानूनी मान्यता? जानें वित्ती मंत्री ने क्या कहा (Pic: iStock) 
मुख्य बातें
  • वित्त मंत्री ने किप्टोकरेंसी पर सरकार का रुख साफ किया है।
  • उन्होंने कहा कि, टैक्स लगाने का मतलब किप्टोकरेंसी को मान्यता देना नहीं है।
  • किप्टो पर टैक्स लगाने का इसे रेगुलेट करने से कोई लेना-देना नहीं है।

Cryptocurrency latest news: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitharaman) ने किप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) की मान्यता को लेकर सरकार का पक्ष स्पष्ट किया है। वित्त मंत्री ने शुक्रवार को राज्यसभा में कहा कि, 'हमने क्रिप्टो लेनदेन से होने वाले लाभ पर टैक्स लगाया है। मैं इसे वैध बनाने, या इसे प्रतिबंधित करने के लिए कुछ नहीं कर रहा हूं।'

एक फरवरी को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अपने बजट 2022-23 (Budget 2022) के भाषण में डिजिटल संपत्ति के हस्तांतरण पर कराधान की घोषणा की थी। इस कर नियम ने कई लोगों को यह विश्वास दिलाया कि अब इसे देश में वैध कर दिया गया है। लेकिन आज वित्त मंत्री ने कहा है कि डिजिटल एसेट्स से होने वाली कमाई पर टैक्स लगाया गया है। इसका उन्हें मान्यता देने या रेगुलेट करने से कोई लेना-देना नहीं है।

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1 फरवरी को किया था ऐलान
सीतारमण ने आगे कहा कि परामर्श के बाद ही फैसला लिया जाएगा कि क्रिप्टोकरेंसी पर प्रतिबंध लगाना है या नहीं। 1 फरवरी को संसद में बजट पेश करते हुए एफएम ने घोषणा की थी कि डिजिटल संपत्ति हस्तांतरण से आय पर 30 फीसदी टैक्स लगाया जाएगा और एक सीमा से ऊपर आभासी संपत्ति के हस्तांतरण पर 1 फीसदी टीडीएस भी लगाया जाएगा।

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अर्थव्यवस्था पर कही ये बात
इस बीच, राज्यसभा में अपने संबोधन में, एफएम ने चालू वित्त वर्ष में अनुमानित 9.2 फीसदी सकल घरेलू उत्पाद की वृद्धि का हवाला देते हुए कहा कि मंदी का कोई सवाल ही नहीं है। 7 साल पहले अर्थव्यवस्था 1.1 लाख करोड़ रुपये थी, अब यह 2.32 लाख करोड़ रुपये है।

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