क्या इंग्लैंड-ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ फिक्स थे भारत के मैच, समाचार चैनल के दावे पर ICC ने दी सफाई

क्रिकेट
भाषा
Updated May 17, 2021 | 18:56 IST

Match fixing allegations: क्या भारत के खिलाफ ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड के टेस्ट मैच फिक्स थे? अल जजीरा चैनल के इन दावों पर अब आईसीसी (अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद) ने सफाई दी है।

India vs Australia, match fixing allegations by al Jazeera
India vs Australia, match fixing allegations by al Jazeera  |  तस्वीर साभार: PTI
मुख्य बातें
  • क्या भारत के खिलाफ ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड के मैच फिक्स थे?
  • अल जजीरा चैनल के दावो से मची खलबली
  • अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) ने दी दावों पर सफाई

दुबईः अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद ने सोमवार को समाचार चैनल अल जजीरा के उस दावे को खारिज किया कि इंग्लैड (2016) और आस्ट्रेलिया (2017) के खिलाफ भारत के टेस्ट फिक्स थे । आईसीसी ने कहा कि खेल के जिस तरीके को फिक्स बताया गया , वह पूरी तरह से प्रत्याशित था लिहाजा इसे फिक्स कहना अकल्पनीय है। अल जजीरा ने 2018 में प्रदर्शित अपनी डाक्यूमेंट्री ‘ क्रिकेट्स मैच फिक्सर्स’ में दावा किया था कि 2016 में चेन्नई में इंग्लैंड के खिलाफ और 2017 में रांची में आस्ट्रेलिया के खिलाफ टेस्ट फिक्स थे।

आईसीसी ने चैनल द्वारा दिखाये गए पांच लोगों को भी क्लीन चिट देते हुए कहा कि उनका बर्ताव भले ही संदिग्ध हो लेकिन उनके खिलाफ कोई साक्ष्य नहीं मिला है । कार्यक्रम में एक कथित सटोरिये अनील मुनव्वर को यह दावा करते दिखाया गया था कि उनका फिक्सिंग का इतिहास रहा है और फिक्स मैचों में विराट कोहली की कप्तानी वाली भारतीय टीम के भी दो मैच हैं । आईसीसी ने उन दावों की जांच की थी ।

आईसीसी ने एक विज्ञप्ति में कहा कि उसने चार स्वतंत्र सट्टेबाजी और क्रिकेट विशेषज्ञों से जांच कराई थी । विज्ञप्ति में कहा गया, ‘‘चारों ने कहा कि खेल के जिस हिस्से को कथित तौर पर फिक्स कहा गया , वह पूरी तरह से प्रत्याशित था और उसे फिक्स नही कहा जा सकता।’’ आईसीसी ने उन व्यक्तियों के नाम का खुलासा नहीं किया जिन्हें क्लीन चिट दी गई लेकिन सूत्रों का कहना है कि उनमें पाकिस्तान के पूर्व क्रिकेटर हसन रजा, श्रीलंका के थरंगा इंडिका और थारिंडु मेंडिस शामिल थे । उन्होंने आईसीसी की जांच में भाग लिया।

मुंबई के प्रथम श्रेणी क्रिकेटर रॉबिन मौरिस का भी इसमें जिक्र था लेकिन वह जांच से नहीं जुड़ा । आईसीसी ने कहा , ‘‘आईसीसी की भ्रष्टाचार निरोधक संहिता के तहत इन पांचों के खिलाफ कोई आरोप नहीं बनता था । उनके खिलाफ ठोस और विश्वसनीय सबूत नहीं थे।’’ आईसीसी महाप्रबंधक (इंटीग्रिटी) एलेक्स मार्शल ने कहा ,‘‘ कार्यक्रम में जो दावे किये गए , वे कमजोर थे । उनकी जांच करने पर पता चला कि वे विश्वसनीय भी नहीं है और चारों विशेषज्ञों का यही मानना था।’’

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