PFI module in Patna : पटना में पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) से जुड़े लोगों पर पुलिस का शिकंजा कसने लगा है। पुलिस ने मामले में तीन और लोगों को गिरफ्तार किया है जबकि करीब 10 लोगों को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है। एसीपी मनीष सिन्हा का कहना है कि पूछताछ में जो नाम सामने आएंगे उन्हें पकड़ने के लिए पुलिस टीम का गठन किया जाएगा। जाहिर है कि आने वाले दिनों में पुलिस और गिरफ्तारियां कर सकती है। पीएफआई के इस मॉड्यूल के मंसूबे काफी खतरनाक हैं। इनके पास से आठ पन्ने का जो दस्तावेज बरामद हुआ है। उससे इनकी भारत विरोधी गतिविधियों एवं नापाक सोच का पर्दाफाश हुआ है।
भारत को इस्लामिक देश बनाने की फिराक में था मॉड्यूल
पुलिस की मानें तो देश के खिलाफ इस नेटवर्क की साजिश बहुत बड़ी है। यह मॉड्यूल 2047 तक भारत को इस्लामिक देश बनाने की फिराक में था। आठ पन्नों के जहरीले दस्तावेज में इस बात का खुलासा हुआ है कि ये कैसे भारत को इस्लामिक स्टेट बनाने की दिशा में आगे बढ़ने वाले थे। दस्तावेज में इसकी पूरी प्लानिंग के बारे में बताया गया है। मॉड्यूल के लोग जिलों में अपने नेटवर्क का विस्तार कर रहे थे। पुलिस इस बात की जांच कर रही है कि फुलवरिया शरीफ में जिन लोगों को ट्रेनिंग दिया गया था, अब वे कहां पर हैं। दूसरे राज्यों से आए लोगों ने यहां युवकों को ट्रेनिंग दी थी, पुलिस इनका भी ब्योरा निकाल रही है।
दस्तावेज में क्या है
पटना पुलिस ने बुधवार को फुलवारी शरीफ से 2 लोगों को गिरफ्तार किया। इन दोनों के पास से सीक्रेट दस्तावेज मिले हैं। इन दस्तावेजों से खुलासा हुआ है कि PFI ने इंडिया विजन 2047 को लेकर एक साजिश का प्लान तैयार किया है इन दस्तावेजों के मुताबिक
'आजादी के 100वें साल में सत्ता मुस्लिमों के पास हो'
'हमारा सपना 2047 में सत्ता मुस्लिमों के पास लौटे'
'2047 में इस्लामिक सरकार बनाने का टारगेट'
'मुस्लिमों को बहुसंख्यक होने की जरूरत नहीं'
'10% मुस्लिम साथ आएं तो बहुसंख्यक घुटनों पर होंगे'
'भारत में इस्लाम का गौरव फिर से स्थापित करेंगे'
'इस्लामिक राष्ट्र के लिए रोडमैप तैयार है'
'दिमाग में रखो-इस्लामिक शासन लाकर रहना है'
'अल्लाह के कानून को स्थापित करना मुस्लिमों का धर्म'
'मुस्लिम इस धरती के राजा हैं'
हिंदुओं के खिलाफ भड़काने की साजिश
PFI इस बात को लेकर पूरी तरह आश्वस्त है कि अगर मुसलमानों का केवल 10 प्रतिशत हिस्सा भी उसके पीछे लामबंद होकर खड़ा हो जाए तो वह बहुसंख्यक कायर समुदाय को घुटनों पर ला देगा और भारत में मुसलमानों को पुरानी प्रतिष्ठा वापस दिलवा देगा।