दिल्ली सरकार के अफसरों को हफ्ते में एक दिन बस से करना होगा सफर, जानें वजह

दिल्ली सरकार के अफसरों को हफ्ते में एक दिन सार्वजनिक परिवहन के जरिए दफ्तर पहुंचना होगा। इसके पीछे सरकार ने खास वजहों का जिक्र किया है।

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एक दिन बस से सफर करेंगे दिल्ली सरकार के अफसरान 

दिल्ली सरकार ने दिल्ली की सड़कों पर 152 नई एवं आधुनिक इलेक्ट्रिक बसे उतारी हैं। इनमें से 150 बसें मंगलवार को दिल्ली की सड़कों पर आईं लेकिन कुछ ही घंटे बाद एक बार खराब हो गई। दिल्ली परिवहन निगम के मुताबिक बस को सही करने में 2 घंटे का समय लगा, जिसके बाद अब वह अपने रूट पर सामान्य रूप से चल रही है।इस बीच बुधवार को दिल्ली सरकार ने आदेश जारी करते हुए कहा कि डीटीसी के ए और बी क्लास के अधिकारियों को सप्ताह में कम से कम एक दिन सार्वजनिक बसों में सफर करना अनिवार्य होगा। दिल्ली के परिवहन विभाग की तरफ से बुधवार को जारी किए गए परिपत्र में कहा गया है कि सफर करने के दौरान अधिकारियों को अपना फीडबैक भी देना है।

सार्वजनिक परिवहन में सुधार की कवायद
दिल्ली के परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत का कहना है कि हम सार्वजनिक परिवहन सिस्टम ज्यादा से ज्यादा सुधार करना चाहते हैं, ताकि दिल्ली वासियों को आरामदायक और सुगम सफर का लाभ मिल सके। इसके लिए हमारे अधिकारी विश्व स्तरीय सार्वजनिक परिवहन बुनियादी ढांचे को विकसित करने के लिए बहुत उत्साहित और प्रतिबद्ध हैं। इसमें दिल्ली की जनता की भागीदारी भी बहुत अहम है। परिवहन और डीटीसी के अधिकारी अक्सर हमारी सार्वजनिक बसों में यात्रा करते हैं, हम अपनी सेवाओं में सुधार के लिए एक नियमित प्रतिक्रिया स्थापित करने में सक्षम होंगे। मैं अपने दिल्ली के नागरिकों से अपील करता हूं कि वे सार्वजनिक बसों में सफर के दौरान हमारे अधिकारियों से मिलें और उन्हें बताएं कि वे सार्वजनिक परिवहन सिस्टम में क्या बदलाव देखना चाहते हैं। हम आपके सुझावों और मुद्दों का संज्ञान लेकर उसमें बदलाव करेंगे।

ए और बी श्रेणी के अधिकारियों को देना होगा फीडबैक
सार्वजनिक बसों में सफर करने वाले ग्रुप ए और बी के अधिकारियों को बसों में सेवा की गुणवत्ता संबंधी विभिन्न मानकों पर एक प्रोफार्मा भर कर यह फीडबैक देना है। इस पहल के माध्यम से, दिल्ली सरकार का उद्देश्य यह संदेश देना है कि स्थायी सार्वजनिक परिवहन में बदलाव कर दिल्ली के नागरिकों के स्वास्थ्य और पर्यावरण की बेहतरी के लिए जीवन शैली में बदलाव है।गौरतलब है कि मंगलवार को मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने स्वयं 150 इलेक्ट्रिक बसों को झंडी दिखाकर दिल्ली के विभिन्न रूटों पर रवाना किया था। मुख्यमंत्री के इस कार्यक्रम के कुछ देर बाद ही इनमें से एक इलेक्ट्रिक बस खराब हो गई। हालांकि डीटीसी अधिकारियों का कहना है कि अब वह बात पूरी तरह से ठीक है। बुधवार को यह बस बिना किसी समस्या के अपने रूट पर सामान्य रूप से चली।

दिल्ली में इस समय 152 इलेक्ट्रिक बस
दिल्ली सरकार द्वारा 150 बसें खरीदी गई है बसें एक बार फुल चार्ज किए जाने के बाद लगभग 180 किलोमीटर तक की दूरी तय कर सकती हैं। इन बसों की उम्र अगले 10 साल है। डीटीसी अधिकारियों का कहना है कि सामान्य सीएनजी बसों की अपेक्षा इलेक्ट्रिक बसें 1.6 लाख टन कम पीएम-2.5 और 1. 7 लाख टन कम पीएम 10 का उत्सर्जन करेंगी।दिल्ली सरकार के मुताबिक दिल्ली में फिलहाल में 152 इलेक्ट्रिक बसें हैं, जो जीरो एमिशन की हैं। इनमे से 150 इलेक्ट्रिक बसों को मंगलवार को आईपी डिपो से मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया था। वर्तमान में दिल्ली सार्वजनिक परिवहन बेड़े के तहत चलने वाली सभी बसें आधुनिक सुविधाओं से लैस हैं जिनमें सीसीटीवी कैमरे, पैनिक बटन और बस मार्शल, बसों की लाइव ट्रैकिंग, कमांड-एंड-कंट्रोल सेंटर के साथ दो-तरफा कनेक्शन और संपर्क रहित टिकटिंग सुविधाएं शामिल हैं।दिल्ली की सार्वजनिक बसों में महिलाओं को मुफ्त यात्रा करने के लिए गुलाबी पास भी प्रदान किए जाते हैं। शुरू की गई इलेक्ट्रिक बसों में शुरूआती 3 दिन का सफर सभी के लिए फ्री है।

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