Ghaziabad News: गेमिंग ऐप पर पैसा डबल करने का झांसा देकर बनाते थे लोगों को शिकार, 10 हजार लोगों से की ठगी

Ghaziabad News: गाजियाबाद की साइबर सेल और इंदिरापुरम पुलिस ने मोबाइल गेमिंग ऐप पर पैसा डबल करने का झांसा देकर ठगी करने वाले एक गिरोह का भडाफोड़ किया है। पुलिस ने इस गिरोह के आठ सदस्‍यों को गिरफ्तार कर भारी मात्रा में सिम व एटीएम कार्ड बरामद किए हैं।

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पुलिस की गिरफ्त में साइबर ठग   |  तस्वीर साभार: Twitter
मुख्य बातें
  • ऑनलाइन गेम खेलने वालों को शिकार बनाता था यह गिरोह
  • गिरोह के सदस्‍य लोगों को भेजते थे बल्‍क में मैसेज
  • लिंक पर क्लिक करने वालों के खाते हो जाते थे खाली

Ghaziabad News:  साइबर ठगी के मामले में गाजियाबाद पुलिस को बड़ी कामयाबी हाथ लगी है। जिले की साइबर सेल और इंदिरापुरम पुलिस ने मोबाइल गेमिंग एप पर पैसा डबल करने का झांसा देकर लोगों से ठगी करने वाले एक गिरोह का भडाफोड़ किया है। पुलिस का मानना है कि, इस गिरोह ने अब तक करीब 10 हजार लोगों को अपना शिकार बनाते हुए करीब 50 करोड़ रुपये की ठगी की है। पुलिस ने इस गिरोह के पांच नेपाली आरोपियों समेत कुल 8 लोगों को गिरफ्तार किया है। पुलिस को इनके कब्‍जे से 100 एटीएम कार्ड, 37 मोबाइल, पांच लैपटाप, 13 चैकबुक, 2 पासबुक, चार लाख रुपये, एक कार, एक स्कूटी बरामद की है।

गाजियाबाद पुलिस द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार, ये गिरोह लोगों को लिंक भेजकर ऑनलाइन गेम के जरिए पैसा डबल करने के नाम पर ठगता था। इस गिरोह के सभी 8 सदस्‍यों को इंदिरापुरम के शक्तिखंड तीन से गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार आरोपी नीरज कुमार सिंह, अवधेश कुमार, हरिदेव सहाय, सुशांत सहाय, तारा कान्त, दीपेन्द्र शर्मा, प्रदीप कुमार, कैलाश कुमार शामिल हैं। अस गिरोह के कुछ सदस्‍य अभी भी फरार चल रहे हैं।

लोगों को भेजते थे बल्‍क में मैसेज

आरोपियों ने पुलिस की पूछताछ में बताया कि, वे वर्ष 2020 से इंदिरापुरम में काल सेंटर चलाते थे। यहां से ऑनलाइन गेम खेलने वाले लोगों को शिकार बनाया जाता था। इस गिरोह के सदस्‍य लोगों को गेम ऐप के लिंक का बल्क में मैसेज भेजते थे। उस मैसेज में लोगों को गेम खेलकर पैसा डबल करने का लालच दिया जाता था। फिर लोग इनके झांसे में आकर लिंक पर जाकर एप डाउनलोड कर लेते थे। एप डाउनलोड होने के साथ ही इस गिरोह के सदस्‍य सक्रिय हो जाते और लोगों से फर्जी बैंक खातों में पैसा ट्रांसफर करा लेते थे। पुलिस ने बताया कि, इन आरोपियों ने फर्जी दस्तावेजों के जरिये सैकड़ों खाते खुलवा रखे हैं। यह फर्जी आईडी पर सिम प्राप्त करके, बैंक खाते में अपडेट करा देते हैं। 

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