नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को एक बार फिर सभी मुख्यमंत्रियों के साथ कोरोना से उभरे संकट पर चर्चा की। इसमें चर्चा की गई कि आगे क्या कदम उठाए जाएं जिससे कोरोना के प्रसार को रोका जा सके और आर्थिक गतिविधियां भी जोर पकड़ सकें। 6 घंटे से ज्यादा लंबी चली इस बैठक में कई मुख्यमंत्रियों ने लॉकडाउन को और बढ़ाने की बात की, जबकि कई ने कहा कि इस पर फैसला राज्यों पर छोड़ देना चाहिए। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने भी बैठक में हिस्सा लिया।
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने प्रधानमंत्री के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा, 'कोविड-19 को लेकर उनके राज्य को राजनीतिक रूप से निशाना बनाया जा रहा है। पश्चिम बंगाल को केंद्र सरकार द्वारा राजनीतिक लाभ प्राप्त करने के लिए टारगेट किया गया है।'
उन्होंने कहा कि एक ओर तो केंद्र चाहता है कि कोरोना वायरस का संक्रमण फैलने से रोकने के लिए लागू लॉकडाउन का कड़ाई से पालन हो, वहीं दूसरी ओर वह ट्रेन सेवाएं बहाल कर रहा है। जब भारत सरकार ने सीमाओं को खोलना, ट्रेनों को शुरू करने और हवाई अड्डों को खोलने सहित लगभग सब कुछ खोल दिया है, तो ऐसे में लॉकडाउन को जारी रखने का क्या तर्क है।
ग्रामीण भारत में न फैले संक्रमण: PM
बैठक में पीएम मोदी ने कहा, 'राज्यों के सुझावों के आधार पर ही आगे का रास्ता तय होगा। देश के सामने सबसे बड़ी चुनौती यह सुनिश्चित करना है कि लॉकडाउन में रियायतों के बाद कोविड-19 का संक्रमण ग्रामीण भारत में नहीं फैले। देश के कई हिस्सों में आर्थिक गतविधियां धीरे-धीरे आरंभ हो गई और आने वाले दिनों में ये गति पकड़ेंगी।'
केजरीवाल ने कहा- फिर शुरू हों आर्थिक गतिविधियां
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि केंद्र सरकार लॉकडाउन पर जो भी फैसला लेगी हम उससे सहमत होंगे लेकिन हमारी सलाह है कि मई के अंत तक लॉकडाउन का विस्तार किया जाए। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि दिल्ली के कंटेनमेंट जोन को छोड़कर सभी हिस्सों में आर्थिक गतिविधियों को फिर से शुरू करने की अनुमति दी जानी चाहिए। वहीं महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने कहा कि मई में मामले चरम पर होने की उम्मीद है, ये जून या जुलाई में भी चरम पर पहुंच सकते हैं। मैंने पढ़ा है कि वुहान में मामलों की दूसरी लहर देखी जा रही है, यहां तक कि WHO ने इस बारे में चेतावनी दी है। इसलिए, मेरा सुझाव है कि लॉकडाउन पर कोई भी कार्रवाई सावधानी से की जानी चाहिए, मेरा अनुरोध है कि अगर जरूरत पड़ी तो राज्य को केंद्रीय बल तैनात किया जाए क्योंकि पुलिस भारी दबाव में है और जवान भी संक्रमित हो रहे हैं।
'राज्य करें रेड, ऑरेंज और ग्रीन जोन घोषित'
इसके अलावा पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने लॉकडाउन को आगे बढ़ाने की पैरवी करते हुए कहा कि लॉकडान से बाहर निकलने के लिए सावधानीपूर्वक रणनीति बनाई जाए और राज्यों को वित्तीय सहयोग दिया जाए। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि राज्यों के पास अपने यहां आर्थिक गतिविधियां शुरू करने को लेकर फैसला करने का अधिकार होना चाहिए। उनके पास रेड, ऑरेंज और ग्रीन जोन घोषित करने का भी अधिकार होना चाहिए।
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