मध्य प्रदेश का कुनो वाइल्ड लाइफ सैंक्चुअरी के लिए 17 सितंबर का दिन खास है तो देश के लिए भी यह दिन खास होगा। करीब 70 साल बाद देश में चीता नजर आएंगे जो 1952 में विलुप्त घोषित कर दिए गए थे। नामीबिया से कुल 8 चीते लाए जा रहे हैं जिनमें तीन नर और पांच मादा हैं। इन चीतों को लाने के लिए जिस विमान को तैयार किया गया है वो भी खास है।
मेन केबिन को बदला गया पिंजड़े में
एयरक्राफ्ट के मेन केबिन के अंदर पिंजड़े बनाए गए हैं ताकि चीतों को लाने में किसी तरह की परेशानी ना हो। इसके लिए खास जगह का इंतजाम किया गया है ताकि यात्रा के दौरान चीतों की देखभाल करने वाले आसानी से उन तक बिना किसी बाधा के पहुंच सके। खास बात यह है कि विशेष विमान पर चीता की तस्वीर को पेंट किया गया है। यहीं नहीं इस तरह की व्यवस्था की गई है कि 16 घंटे की नॉन स्टॉप यात्रा को तय कर सके।
खास विमान पर खास नजर
B747-400 यात्री जेट को B747 जंबो जेट नाम दिया गया है।
B747 जंबो जेट को खासतौर पर डिजाइन किया गया है।
अल्ट्रा लांग रेंज जेट है B747
यह विशेष विमान नॉन स्टॉप उड़ान भर सकता है।
जेट के फेस को चीते के रंग में पेंट किया गया है।
विमान का रिफ्यूल करने की जरूरत नहीं पड़ेगी
एक्शन एविएशन से इस विमान को लिया गया है।
सबसे बड़ी बात यह है कि नामीबिया से चीतों को जब लाया जाएगा तो उन्हें खाली पेट रखा जाएगा। इसके बारे में भारतीय वन विभाग के जानकार कहते हैं कि इतनी लंबी हवाई यात्रा के दौरान जानवरों को मिचली की दिक्कत के साथ साथ दूसरी परेशानी हो सकती है लिहाजा उन्हें खाली पेट रखने का फैसला किया गया है। पांच मादा चीता की उम्र 2 से 2.5 साल के बीच की हैजबकि नर चीता की उम्र 4.5 से लेकर 5,5 साल है।
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