Mahatma Gandhi पर न्यूयॉर्क टाइम्स में PM मोदी का लेख, बताया-दुनिया को इसलिए है राष्ट्रपिता की जरूरत

देश
Updated Oct 02, 2019 | 14:41 IST | टाइम्स नाउ डिजिटल

PM Modi's NYT article on Mahatma Gandhi : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का राष्ट्रपिता महात्मा गांधी पर लिखा हुआ एक लेख न्यूयॉर्क टाइम्स में छिपा है। पीएम ने कहा है कि महात्मा गांधी के विचार आज भी प्रेरक हैं।

 PM Narendra Modi write up In New York Times on Mahatma Gandhi
महात्मा गांधी पर न्यूयॉर्क टाइम्स में प्रकाशित हुआ पीएम मोदी का लेख।  |  तस्वीर साभार: BCCL
मुख्य बातें
  • गांधी जयंती (दो अक्टूबर) पर न्यूयॉर्क टाइम्स में प्रकाशित हुआ पीएम मोदी का लेख
  • पीएम ने बताया-देश और दुनिया के लिए क्यों आज भी प्रासंगिक हैं गांधी के विचार
  • प्रधानमंत्री ने कहा-समाज के सभी वर्गों में विश्वास के प्रतीक थे महात्मा गांधी

नई दिल्ली : देश और दुनिया में दो अक्टूबर को गांधी जयंती (Gandhi Jayanti) धूमधाम से मनाया जा रहा है और लोग राष्ट्रपिता के योगदान को याद कर रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने महात्मा गांधी (Mahatma Gandhi) को याद करते हुए न्यूयॉर्क टाइम्स (New York Times) में एक लेख लिखा है। इस लेख में पीएम ने बताया है कि आज के समय में महात्मा गांधी के विचारों को देश और दुनिया की जरूरत है। पीएम ने अपने इस लंबे लेख में बदले हुए समय में गांधी के विचारों की प्रासंगिकता रेखांकित की है। उन्होंने कहा है कि गांधी जी के विचार आज भी हमारा मार्गदर्शन कर सकते हैं।   

लेख में पीएम ने कहा है, 'गांधी जी का जन्म भारत में हुआ लेकिन उनकी छाप दुनिया भर में है और उन्होंने अपने विचारों से मार्टिन किंग लूथर और नेल्सन मंडेला जैसी दुनिया की महान शख्सियतों को प्रेरित किया। गांधी जी के विचारों ने अफ्रीका के लाखों को अपने अहिंसक संघर्ष के लिए प्ररेणा दी।' प्रधानमंत्री मोदी स्पष्ट रूप से कहते हैं कि गांधी जी के विचारों को अपने जीवन में उतारकर व्यक्ति राष्ट्रवादी और अंतरराष्ट्रीयवादी दोनों हो सकता है। 

पीएम ने कहा, 'महात्मा गांधी ने समाज के सभी वर्गों में विश्वास के एक प्रतीक थे। गांधी जी की नजर में आजादी का मतलब था कि इससे व्यक्तिगत और राजनीतिक सशक्तिकरण दोनों होना चाहिए। गांधी जी का कहना था कि व्यक्ति को केवल अपने मौलिक अधिकारों की नहीं बल्कि मौलिक कर्तव्यों पर भी ध्यान देना चाहिए।'

पीएम ने गांधी जी को सच्ची श्रद्धांजलि देने के लिए आइंस्टीन की चुनौती को आगे बढ़ाने की पेशकश की है। पीएम का कहना है कि हमें यह देखना होगा कि आगामी पीढ़ियों तक हमा गांधी के विचारों को कैसे पहुंचा सकते हैं। पीएम का कहना है कि गांधी जी ने 1925 में 'यंग इंडिया' के बारे में लिखा था। राष्ट्रपिता के मुताबिक, 'राष्ट्रवादी हुए बिना किसी के लिए अंतरराष्ट्रीयवादी बनना असंभव है। राष्ट्रवादी होने के बाद ही अंतरराष्ट्रीयवादी होने की भावना पनपती है।'

महात्मा गांधी के स्वतंत्रता संघर्षों को याद करते हुए पीएम ने लिखा है कि दुनिया में बहुत सारे जनांदोलन हुए हैं लेकिन जो बात गांधी के संघर्ष को दुनिया के अन्य आंदोलनों से अलग करती है, वह लोगों की बड़ी संख्या में भागीदारी है। गांधी के आंदोलनों में जनभागीदारी उसे खास बनाती है। आज के समय में गांधी जी के विचार हमारा मार्गदर्शन कर सकते हैं। राष्ट्रपिता के विचार हमें सभी समस्याओं का हल बताते हैं।

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