Jaipur: पार्षदों से प्रमाणित होने के बाद वेतन मिलने के फैसले पर भड़के कर्मचारी संघ

जयपुर समाचार
Updated Feb 19, 2022 | 16:20 IST | टाइम्स नाउ डिजिटल

जयपुर नगर निगम हेरिटेज के हवामहल जोन में सफाईकर्मियों को पार्षदों के प्रमाणित होने के बाद ही वेतन देने का फैसला किया गया था। इस मामले पर कर्मचारी संघ ने विरोध जाहिर किया है, साथ ही प्रशासन पर कई आरोप भी लगाए हैं। उनके अलावा कांग्रेस और भाजपा भी मामले पर विरोध में नजर आई।

Jaipur Hawa Mahal
हवामहल जोन  |  तस्वीर साभार: Twitter
मुख्य बातें
  • हवामहल जाेन में सफाईकर्मियों काे पार्षदों से प्रमाणित होने के बाद मिलेगा वेतन
  • इस फैसले पर भड़के कर्मचारी
  • प्रशासन पर लगाए जा रहे हैं कई आरोप

Jaipur Nagar Nigam: जयपुर नगर निगम हेरिटेज के हवामहल जोन में सफाईकर्मियों को पार्षदों के प्रमाणित होने के बाद ही वेतन देने का फैसला किया गया था, जिसका अब संयुक्त वाल्मिकी एवं सफाई संघ सहित निगम के सफाईकर्मियों ने विरोध किया है। बता दें कि मेयर मुनेश गुर्जर ने 15 फरवरी को हवामहल जोन के वार्ड पार्षदों की मीटिंग के दौरान निर्देश दिए थे। हालांकि मेयर के निर्देश के चार दिन बाद भी निगम प्रशासन की ओर से कोई आदेश जारी नहीं किया गया है। दूसरी ओर कांग्रेस, भाजपा और निर्दलीय पार्षदों का कहना है कि यह निर्देश मेयर ने पार्षदों को राजी करने के लिए दिये हैं। उनके इन निर्देशों का पालन निगम प्रशासन ने नहीं किया है।

संयुक्त वाल्मिकी एवं सफाई संघ के अध्यक्ष ने जताया विरोध
संयुक्त वाल्मिकी एवं सफाई संघ के अध्यक्ष नंदकिशोर डंडोरिया ने मामले पर विरोध जाहिर किया और दावा किया कि ऐसा कोई भी नियम नहीं बना है, जिसमें जनप्रतिनिधियों को कर्मचारियों का रिपोर्ट कार्ड जारी करना पड़े। उन्होंने मामले पर आगे कहापार्षद किन नियमों के तहत सफाई कर्मचारियों के कार्यों का प्रमाणीकरण करेंगे। कर्मचारियों के कार्यों की निगरानी मुख्य तौर पर मुख्य स्वास्थ्य निरीक्षक, स्वास्थ्य निरीक्षक और उपायुक्त द्वारा की जाती है और नियमानुसार वे ही प्रमाणित करते हैं। मेयर का यह तुगलकी फरमान है, इस तरह के नियम पूरे देश में नहीं है। मेयर व पार्षदों की आपसी खींचतान में अब कर्मचारियों को मोहरा बनाया जा रहा है। ऐसा  आदेश निकालने पर पार्षदों और कर्मचारियों में और दूरियां बढ़ेंगी। पार्षद सफाई कर्मचारियों के साथ अपनी मनमानी करेंगे।

कांग्रेस ने भी जताया विरोध
वार्ड-5 से कांग्रेस पार्षद अब्दुल वहीद का कहना है कि अधिकारी पार्षदों की शिकायतें नहीं सुन रहे हैं। आमजन लगातार शिकायतें कर रहे हैं, इससे पार्षदों की छवि खराब हो रही है। अच्छा रहेगा कि मेयर अधिकारियों पर अंकुश लगाएं और उन्हें ऐसा करना भी चाहिए। पार्षदों की शिकायतों पर ही कार्य पूरे हो जाएं तो आमजन में अच्छा संदेश जाएगा।

मुद्दों से भटकाने का लगा आरोप
कांग्रेस बोर्ड को समर्थन दे रहीं वार्ड 6 से निर्दलीय पार्षद जाहिद अली व वार्ड 12 से मोजम बानो ने आरोप लगाया कि कमेटियां बनाने की मांग की गई थी। लेकिन अब सफाई कर्मचारियों के कार्यों को प्रमाणित करने का मौखिक निर्देश देकर मुद्दे से भटकाया जा रहा है।

सफाईकर्मियों की संख्या कम करने का भी लगा आरोप
भाजपा के वार्ड 20 के पार्षद राम कृष्ण शर्मा व वार्ड 24 के माणक चंद का कहना है कि सफाई कर्मचारियों के समानीकरण के नाम पर उनकी संख्या कम की जा रही है। खासकर उनके वार्ड से सफाई कर्मचारियों की संख्या को कम कर किया गया है। भाजपा पार्षद ने आगे कहा, "कर्मचारी कम रहेंगे तो सफाई नहीं हो पाएगी। ऐसे में उनके काम की किस रिपोर्ट को प्रमाणित करेंगे।"

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