मुंबई। एंटीलिया के बाहर जिलेटिन से भरी स्कॉर्पियो का मामला महाराष्ट्र की राजनीति में इतना उथल पुथल मचा देगा किसी ने सोचा नहीं था। इस केस में जब मनसुख हिरेन नाम के शख्स की मौत जब सामने आई तो उसके लपेटे सीआईयू में एपीआई सचिन वझे का नाम सामने आया। सचिन वझे को महाराष्ट्र एटीएस मुख्य षड़यंत्रकारी मान रही है तो एनआईए की जांच में जो जानकारी सामने आ रही है वो चौंकाने वाली है। सचिन वझे का रुत्बा और रसूख उसके खुद के पद से कहीं ज्यादा था। वो महंगे फाइव स्टार होटल में रुकता था। उसी क्रम में ट्राइडेंट होचल में रुकने का मामला सामने आया। इस संबंध में एनआईए की जांच में कुछ और सनसनीखेज जानकारी सामने आई है।
फाइव स्टार होटल होता था सचिन वझे का ठिकाना
एनआईए जांच से पता चला है कि सचिन वझे के लिए झावेरी बाजार एक जूलरी व्यापारी ने 100 दिन के लिए ट्राइडेंट होटल में लग्जरी बुक किया था। और उसके लिए 25 लाख की रकम अदा की गई थी। खास बात यह है कि वझे सुशांत नाम के जाली आधार कार्ड पर रुका करता था। सचिन वझे लग्जरी रूम की मांग किया करता था। अब सवाल यह है कि सचिन वझे के उस होटल में रुकने के पीछे वजह क्या थी इसकी जांच एनआईए कर रहा है।
लग्जरी होटल में रुकने का क्या था मकसद
अब सवाल यह है कि सचिन वझे किस मकसद को हासिल करने के लिए होटल में रुका करता था। इसके साथ ही यह भी सवाल है कि आखिर 100 दिन के लिए वो होटल में लग्जरी कमरे को बुक किया करता था। इस केस की जांच जारी है। बता दें कि सचिन वझे 16 फरवरी से 20 फरवरी तर जाली आधार कार्ड पर पैसों से भरे पांच बैग के साथ रुके थे।
आखिर वा कौन जूलर था जिसने 100 दिन के लिए लग्जरी कमरे बुक कराया था। इस संबंध में फिलहाल अभी किसी तरह की जानकारी नहीं है। लेकिन बताया जा रहा है कि एजेंसी इस बात का पता लगाने की कोशिश कर रही है कि आखिर सचिव वझे जो एपीआई रैंक का अफसर है वो लग्जरी कमरे में रुका करता था। बताया जा रहा है कि बहुत जल्द ही उस जूलर से पूछताछ की जा सकती है जिसने 100 दिन के लिए कमरा बुक कराया था।
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