हरिद्वार महाकुंभ (Haridwar MahaKumbh 2021) में दूसरा शाही स्नान आज सोमवार को सोमवती अमावस्या के मौके पर हो रहा है इस मौके पर श्रद्धालुओं का उत्साह देखते ही बनता है, शाही स्नान को लेकर पुलिस प्रशासन से लेकर अखाड़ों ने अपनी तैयारियां पूरी कर रखी हैं 13 अखाड़े क्रमवार हरकी पैड़ी पर गंगा स्नान करेंगे। हरकी पैड़ी पर सूर्योदय पर सुबह की गंगा आरती हुई वहीं श्रद्धालुओं की आस्था के आगे कोरोना संक्रमण का खौफ कहीं नहीं दिखा।
सुबह से ही श्रद्धालुओं की भारी भीड़ हरकी पैड़ी ब्रह्मकुंड सहित अन्य गंगा घाटों पर स्नान करने लगी। श्रद्धालुओं ने गंगा पूजन के साथ ही गंगा में डुबकी लगाई और पुण्य लाभ कमाया।
श्रद्धालु हरकी पैड़ी पर सुबह 7 बजे से पहले गंगा स्नान कर सकेंगे इसके बीच का समय अखाड़ों के लिए निर्धारित किया गया है। कुंभ मेले में सबसे बड़े आकर्षण का केंद्र शाही स्नान होते हैं। इसमें देश के विभिन्न राज्यों के साथ ही दुनिया के लोग इस शाही स्नान में पुण्य की डुबकी लगाने पहुंचते है, शाही स्नान के दिन अखाड़े विशेष केंद्र में रहते हैं।
वहीं कुंभ मेला आईजी संजय गुंज्याल ने कहा कि हम लोगों से लगातार कोविड-19 के उचित व्यवहार का पालन करने की अपील कर रहे हैं। लेकिन भारी भीड़ के कारण, आज चालान जारी करना व्यावहारिक रूप से संभव नहीं है। घाटों पर सोशल डिस्टेंसिंग सुनिश्चित करना बहुत मुश्किल है। उन्होंने कहा कि यदि हम घाटों पर सोशल डिस्टेंसिंग को लागू करने की कोशिश करेंगे तो भगदड़ जैसी स्थिति उत्पन्न हो सकती है हम यहाँ सोशल डिस्टेंसिंग को लागू करने में असमर्थ हैं।
दिन चढ़ने के साथ ही हरकी पैड़ी को पूरी तरह 13 अखाड़ों के स्नान शाही स्नान के लिए आरक्षित कर दिया गया है इससे पहले श्रद्धालु रोक-टोक से पहले ही हर की पौड़ी ब्रह्मकुंड पर स्नान कर लेना चाह रहे थे। बावजूद इसके उन्हें अधिक देर तक हरकी पैड़ी पर स्नान को ठहरने नहीं दिया जा रहा था। हरकी पैड़ी पर रात 12 बजे के बाद से ही सोमवती अमावस्या का स्नान शुरू हो गया था पर इसमें तेजी भोर में ब्रह्ममूहुर्त के बाद से आई।
हरकी पैड़ी पर ब्रह्मकुंड में अखाड़ों के संत क्रमवार शाही स्नान करेंगे जूना के साथ अग्नि और आह्वान अखाड़ों के संत स्नान करेंगे।किन्नर अखाड़ा भी जूना के साथ ही चौथे नंबर पर स्नान करेगा जबकि बैरागियों की तीनों अणियों निर्माणी, दिगंबर और निर्मोही के संत भी एक साथ स्नान करेंगे।
कड़ी सुरक्षा के चलते दिन चढ़ने के साथ ही यात्रियों को हरकी पैड़ी जाने से रोकना शुरू कर दिया गया ऐसे में यात्रियों ने दूसरे गंगा घाटों पर ही सोमवती अमावस्या पर पुण्य की डुबकी लगाई साथ ही दान आदि कर पितरों को याद किया।
कड़ी चौकसी के साथ ही कुंभनगरी की पूरी तरह से किलेबंदी की गई है, शनिवार रात तक कुंभनगरी का कारोबारी हरकी पैड़ी के सूने पड़े घाट व खाली बाजार को देखकर परेशान हो उठा था वहीं अब श्रद्धालुओं का सैलाब देख स्थानीय कारोबारियों के चेहरे खिल गए है। सोमवती अमावस्या के दिन हरिद्वार में स्नान करने से करोड़ों पुण्य का लाभ प्राप्त होता है और कुंभ पर्व होने के साथ-साथ स्नान दान, जप और भगवान शिव व विष्णु की उपासना करने, पीपल के वृक्ष की पुष्प और अक्षत चावल फल, धूप दीप-नैवेद्य सहित पूजन करने से और उसकी परिक्रमा करने से अनेक पापों से मुक्ति प्राप्त होती है।
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