नई दिल्ली : नवरात्र में मां दुर्गा की पूजा फलदायी होती है और अगर श्री दुर्गा बत्तीस नामवली का जाप किया जाए तो मां से मांगी हर मुराद पूरी होती है। मां भगवती ने अपने ही बत्तीस नामों की माला के एक अद्भुत गोपनीय रहस्यमय किंतु चमत्कारी जप का उपदेश दिया जिसके करने से घोर से घोर विपत्ति, राज्यभय या दारुण विपत्ति से ग्रस्त मनुष्य भी भयमुक्त एवं सुखी हो जाता है।
दरअसल, दानव महिषासुर के वध से प्रसन्न और निर्भय हो गए त्रिदेवों सहित देवताओं ने प्रसन्न भगवती से ऐसे किसी अमोघ उपाय की याचना की, जो सरल हो और कठिन से कठिन विपत्ति से छुड़ाने वाला हो। तब मां ने श्री दुर्गा बत्तीस नामवली का राज दिया था। माना जाता है कि जो भी दिल से एकाग्रिचित होकर इस नामवाली का मनन करता है, वह इस सांसारिक जीवन में आध्यात्मिक सुख की प्राप्ति करता है। वैसे इन नामों को एक साथ दुर्गाद्वात्रिंशन्नाममाला कहा जाता है जो भय और विपत्ति नाशक है।
जानें मां दुर्गा के 32 नाम :
कैसे करें जाप
सुबह स्नान करने के बाद कुश या कम्बल के आसन पर बैठकर पूर्व या उत्तर की तरफ मुंह करके घी के दीपक के सामने इन नामों की 5, 11 या 21 माला का पाज नवरात्र में करना है। इसके बाद जगत माता से अपनी मनोकामना पूर्ण करने की याचना करनी है। आप नवरात्र के अलावा भी 9 दिन इस नामवाली का जाप कर सकते हैं।
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श्री दुर्गा बत्तीस नामवली के लाभ
इस नाम स्त्रोत का प्रभाव अत्याधिक लाभदायक है। इस अद्भुत स्त्रोत द्वारा जीवन के हर कष्ट व दुखों से हम तुरंत बहार निकल सकते हैं। इस मंत्र स्त्रोत को न सिद्ध करने की आवश्यक्ता है न स्थान शुद्धि की और न किसी विशेष विधान की। यह अपने में स्वत: सिद्ध है। इसका परिणाम तत्काल देखा जा सकता है।
कोई अगर शत्रुओ के मध्य फंस गया हो, भीषण अग्निके मध्य हो, रास्ता भटक गया हो, कर्ज से न निकल पा रहा हो, गम्भीर रोग से त्रस्त हो, विष भय हो, धन-व्यापार आदि में निरंतर हानि हो रही हो, मृत्यु शय्या पर हो, किसी व्यसन से ग्रस्त हो, कैद या बंदी हो, किसी ऊपरी बाधा से परेशान हो - इस नामवाली का जाप सभी प्रकार के कष्टों से मुक्ति दिलाने वाला है।
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