नई दिल्ली। Shiv muthi: सावन माह शिव जी को सबसे प्रिय होता हैं। इस पूरे माह शिव जी की आराधना करने का जैसे भी मौका मिले जरूर करना चाहिए। कोशिश करनी चाहिए कि शिवजी की पूजा पूरे विधि विधान से तो हो ही साथ ही उन्हें प्रसन्न करने के हर मौके को ढूंढना चाहिए। ऐसा करने से आप न केवल अपने कई कष्टों से मुक्ति पा लेंगे बल्कि आपकी कई असाध्य मनोकामनाएं भी पूरी हो सकेंगी। शिवलिंग के अभिषेक करने के बारे में तो सभी जानते हैं लेकिन आपको पता है कि अभिषेक के साथ भोले बाबा को शिवा मुठ्ठी भी चढ़ाई जाती है और ये बेहद शुभ मानी जाती है। सावन के हर सोमवार को शिवा मुठ्ठी चढ़ाने से आपके कई कष्ट दूर हो जाएंगे। तो आइए जानें की शिवा मुठ्ठी में क्या चढ़ाना चाहिए।
कष्टों से मुक्ति के लिए सावन में शिवजी को चढ़ाएं 'शिवा मुट्ठी
1. सावन के पहले सोमवार के दिन आपको शिवा मुठ्ठी के रूप में कच्चे चावल को चढ़ाना चाहिए। सोमवार को अपनी एक मुट्ठी के बराबर चावल ले कर भगवान को अर्पित करें।
2. सावन के दूसरे सोमवार को शिवजी को सफेद तिल चढ़ाने का महात्मय होता है। अपनी मुठ्ठी से एक मुठ्ठी सफेद तिल लेकर प्रभु को अर्पित कर दें।
3. सावन के तीसरे सोमवार को खड़े और हरे मूँग को अपनी मुट्ठी से नाप कर लें और उसे भगवान को अर्पित कर दें।
4. सावन के चौथे सोमवार को एक मुट्ठी जौ को चढ़ाना चाहिए। यहां एक बात ध्यान देने की होगी कि इस बार सावन के चार सोमवार पड़ रहे हैं। ऐसे में पांचवे सोमवार का अनाज आपको चौथे सोमवार को ही चढ़ा देना होगा।
5. सावन के पांच सोमवार को सतुआ चढ़ाया जाता हैं। इस बार क्योंकि पांचवां सोमवार नहीं पड़ रहा तो आप एक मुठ्ठी सतुआ आप चौथे सोमवार को ही चढ़ा दें।
याद रखें यदि पांचवां सोमवार सावन का न हो तो चौथे सोमवार को दो मुठ्ठी आप भोग भगवान को अर्पित करेंगे।
पूजा विधि-
सोमवार को शिव मंदिर जाकर शुद्ध आसन पर बैठकर शिवलिंग का जलाभिषेक करें। 108 बेलपत्र पर राम नाम लिखकर चढ़ाएं। गाय का दूध लें। पहले दूध अर्पित करें। अब इत्र से भगवान को स्नान कराके गुलाल लगाएं। फिर गंगाजल से शिव जी का अभिषेक करें। शहद भी अर्पित करें। पूरे शिवलिंग को पुष्पों, बेलपत्र तथा अबीर , गुलाल, चंदन से समर्पित कर श्रृंगार करें।पीली धोती शिवलिंग पर चढ़ाएं। माता पार्वती को चुनरी चढ़ाएं। पूरे शिव परिवार को जल दें।
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