उत्तर भारत का सबसे लोकप्रिय और महत्वपर्ण त्योहार होता है करवा चौथ। पति की लंबी आयु के लिए रखा जाने वाला निर्जला व्रत सूर्योदय के साथ शुरू होता है और चंद्रोदय के साथ खत्म होता है। ऐसे में इस व्रत को करना असान नहीं होता, इसलिए पारंपरिक रूप से व्रत से पूर्व भोर में सरगी खाने की प्रथा है। सरगी सास बनाती है और बहू इसे खा कर व्रत का शुभारंभ करती है। सरगी बहुत ही महत्वपूर्ण केवल धार्मिक लिहाज से नहीं बल्कि सेहत के लिहाज से भी होती है।
परंपरा के अनुसार सरगी में कुछ चीजें रहना बहुत जरूरी हैं, क्योंकि ये व्रत की कठिनाईयों को कम करती हैं और व्रत को सफल बनाती हैं। तो आइए आज जानते हैं कि सरगी क्या है और सरगी की थाल में क्या कुछ होना ही चाहिए।
क्या होती है सरगी?
करवा चौथ एक पवित्र व्रत है जो सूर्योदय से लेकर चंद्रोदय तक चलता है। जो भी इस व्रत का पालन करता है वह व्रत से पूर्व भोर में उठ कर कुछ विशेष चीजों का सेवन करना होता है और ये ही सरगी कहलाता है। पंजाब और हिमाचल प्रदेश जैसे अधिकांश राज्यों में सरगी का महत्व बहुत है। सास अपने हाथों से भोर में खाई जाने वाली भोज्य सामग्री बनाती है। सरगी एक सास के प्यार और अपनी बहू के लिए आशीर्वाद का प्रतीक होता है।
करवा चौथ के दौरान सरगी कब खानी होती है
सरगी भोर यानी सूर्य निकलने से पूर्व खाई जाती है। इसे सुबह करीब तीन या चार बजे तक खा लेना चाहिए। यही आदर्श समय माना गया है। स्नान करने के बाद महिलाएं अपनी सास से सरगी लेती हैं। यदि किसी महिला की सास साथ नहीं रहती तो सरगी सास पहले ही भेज देती हैं। अगर सास नहीं तो सास समान मां, बहन या भाभी भी इसे दे सकती। इसे खाने के बाद ही निर्जला व्रत शुरू होता है।
क्या कुछ होना चाहिए सरगी में?
पारंपरिक रूप से सरगी ऐसा होना चाहिए जो एक महिला को पूरे दिन की भोजन और पानी के बिना रहने की शक्ति दे और दिन भर ऊर्जावान बनाए रखें। यहाँ कुछ खाद्य पदार्थ हैं जो एक पारंपरिक करवा चौथ में शामिल किए जाते हैं।
1. सेवईयां
दूध, चीनी , मावा और सेवई के साथ तैयार की गई सेंवईयां सरगी की थाल का महत्वपूर्ण हिस्सा है। पौष्टिकता और स्वाद से भरी ये सरगी जरूर खानी चाहिए।
2. ताजे फल
केला, सेब, खजूर आदि को सरगी में शामिल किया जाता है। ताजे फलों में पर्याप्त मात्रा में फाइबर और पानी होता है। क्योंकि इस व्रत में भोजन और पानी के बिना रहना होता है इसलिए फल का होना सरगी में जरूरी है क्योंकि ये शरीर की पानी की जरूरतों को पूरा करती है।
3. ड्राई फ्रूट्स
सूखे मेवे जैसे बादाम, अखरोट, काजू आदि को भी सरगी में शामिल किया जाता है। नट्स को शुभ माना जाता है, साथ ही ये पोषण सामग्री और कैलोरी में भी उच्च होते हैं, इसलिए ये दिन भर की ऊर्जा का खजाना होते हैं। मुठ्ठी पर इनका सेवन जरूर करें।
4. हल्के से पके हुए खाद्य पदार्थ
सरल घर के पके हुए खाद्य पदार्थ जो पचाने में आसान होते हैं, वे भी सरगी का हिस्सा हो सकते हैं। एक रोटी किसी सामान्य सब्जी और ड्राई फ्रूट्स के हलवे के साथ खाना चाहिए। ये पर्याप्त ऊर्जा प्रदान करने के लिए पर्याप्त होगा। किसी भी भारी या तैलीय भोजन को खाने से बचें।
5. मिठाई
भारतीय परंपरा कुछ भी पवित्र या महत्वपूर्ण शुरुआत करने से पहले मिठाई खाने पर बहुत महत्व देती है। इसलिए, एक सरगी में एक मिठाई होनी ही चाहिए। मिठाई में मौजूद चीनी पूरे दिन के लिए बहुत आवश्यक ऊर्जा प्रदान करने के लिए कारगर है, लेकिन ज्यादा मीठा न खाएं।
तो ये कुछ पारंपरिक सरगी में शामिल होने वाली चीजें हैं, जिन्हें खा कर करवा चौथ का व्रत रखना सेहत के लिए भी फायदेमंद होगा।
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