Facebook : फेसबुक खुला, पारदर्शी मंच बने रहने के लिए प्रतिबद्ध, स्वतंत्र अभिव्यक्ति की सुविधा देता रहेगा

आरोप प्रत्यारोप के बीच सोशल मीडिया कंपनी फेसबुक ने कहा कि वह एक खुला और पारदर्शी मंच बने रहने के लिए प्रतिबद्ध है।

Facebook Committed to remain an open, transparent platform, will allow free expression
फेसबुक पर विवाद 

नई दिल्ली : सोशल मीडिया कंपनी फेसबुक ने बुधवार को कहा कि वह एक खुला और पारदर्शी मंच बने रहने के लिए प्रतिबद्ध है। वह लोगों को उसके मंच पर स्वतंत्र रूप से अभिव्यक्त करने की सुविधा देता रहेगा। सोशल मीडिया कंपनी के कथित राजनीतिक पूर्वाग्रह को लेकर जारी विवाद के बीच उसने यह बात कही है। फेसबुक की ओर से यह बयान उसके भारतीय परिचालन के प्रमुख अजीत मोहन के सूचना प्रौद्योगिकी पर संसद की स्थायी समिति के समक्ष पेश होने के कुछ देर बाद आया। समिति सोशल मीडिया मंचों के कथित दुरुपयोग मामले को देख रही है।

फेसबुक प्रवक्ता ने ई-मेल के जरिये दिए बयान में कहा कि हम माननीय संसदीय समिति के समय देने के लिए शुक्रगुजार हैं। हम खुद को एक खुला और पारदर्शी मंच बनाए रखने के लिए प्रतिबद्ध है, साथ ही लोगों को स्वतंत्र रूप से अभिव्यक्त करने और उनकी आवाज उठाने की अनुमति देते रहेंगे। समिति की बंद दरवाजे में हुई इस सुनवाई की ज्यादा जानकारी बाहर नहीं आयी है।

समिति के अध्यक्ष और कांग्रेस नेता शशि थरूर ने बुधवार को ट्वीट कर कहा कि सूचना प्रौद्योगिकी पर संसदीय स्थायी समिति की बैठक को लेकर मीडिया की रुचि को देखते हुए मैं बस इतना कह सकता हूं, हमने फेसबुक के प्रतिनिधियों समेत इस मामले में करीब साढ़े तीन घंटे परिचर्चा की और इस पर आगे भविष्य में बातचीत को लेकर सहमत हुए।

अमेरिका के वालस्ट्रीट जर्नल की एक खबर के बाद से फेसबुक पर सभी की निगाहें तनी हुई हैं। इस रिपोर्ट में फेसबुक की भारत को लेकर ‘कंटेंट’ नीति में सत्ताधारी पार्टी का कथित तौर पर पक्ष लेने की बात कही गई है। इसके बाद से सत्ताधारी बीजेपी और मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस के बीच फेसबुक के कथित राजनीतिक झुकाव को लेकर तनातनी बढ़ गई है।

सोमवार को कांग्रेस के नेता राहुल गांधी ने दावा किया था कि अंतरराष्ट्रीय मीडिया ने फेसबुक और व्हाट्सएप के भारत के लोकतंत्र और सामाजिक ताने-बाने पर हमला करने की करतूत का भंडाफोड़ किया है।  व्हाट्सएप पर भी फेसबुक का मालिकाना हक है।

मंगलवार को सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने फेसबुक के प्रमुख मार्क जुकरबर्ग को पत्र लिखकर सोशल मीडिया कंपनी के कर्मचारियों द्वारा लगातार चुनावों में हार का सामना करने वाले राजनीतिक दल के समर्थकों और प्रधानमंत्री, वरिष्ठ कैबिनेट मंत्रियों को अपशब्द कहने वालों का समर्थन करने का आरोप लगाया है।

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