'राष्ट्रवाद...देश से बढ़कर कुछ नहीं' में बात हुई अफगानिस्तान में तालिबान राज की। अफगानिस्तान में तालिबान के कब्जे के बाद पूरी दुनिया टेंशन में है। आम अफगानी नागरिक मुश्किल में हैं। अफगाानिस्तान में फंसे हजारों विदेशी नागरिकों की जान हथेली पर है लेकिन एक ऐसा मुल्क है जो अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे पर सबसे ज्यादा खुश है। आतंक को पालने वाला पाकिस्तान तालिबान के कब्जे में खुद की जीत देख रहा है। दुनियाभर के देशों के चक्कर काटकर पाकिस्तान तालिबान को मान्यता देने की बात कर रहा है। इतना ही नहीं अब तो पाकिस्तान खुले तौर पर दुनिया को 9/11 जैसे हमले की धमकी दे रहा है।
पाकिस्तान के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार मोईद यूसुफ ने एक बयान जारी कर कहा है कि दुनिया का तालिबान को अलग करना ठीक नहीं है। अगर तालिबान को मान्यता नहीं मिली तो 9/11 जैसा हमला हो सकता है। इतना ही नहीं पाक एनएसए कह रहे हैं कि विदेशी सैनिक जाएंगे तो रिफ्यूजी समस्या बढ़ेगी। दूसरी तरफ पाकिस्तान के विदेश मंत्री दुनियाभर के देशों के चक्कर सिर्फ इसलिए लगा रहे हैं कि तालिबान को मान्यता मिल जाए।
दुनिया जानती है कि पाकिस्तान के डीएनए में आतंकवाद है, जहां आतंकवाद है वहां पाकिस्तान है। लेकिन अब पाकिस्तान पर एफएटीएफ की ब्लैक लिस्ट में जाने का खतरा मंडरा रहा है। ऐसे में पाकिस्तान तालिबान को साथ लेकर अपनी इमेज को दुनिया के सामने सुधारना चाहता है। पाकिस्तान 9/11 जैसे हमले की धमकी इसलिए भी दे रहा है कि अगर तालिबान को मान्यता नहीं मिली तो उसे मिलने वाली अमेरिकी सहायता पर भी अंकुश लग जाएगा। दूसरा पाकिस्तान का मकसद तालिबान को साथ लेकर भारत के खिलाफ आतंकी साजिश करना भी है। पाकिस्तान तालिबान के साथ मिलकर कश्मीर में आतंकी साजिश को अंजाम देना चाहता है, लेकिन पाकिस्तान के ये मंसूबे पूरे होने वाले नहीं है। भारत ने पाकिस्तान को साफ साफ चेतावनी दी है कि हमको छेड़ने की कोशिश की तो घर में घुसकर मारेंगे।
पाकिस्तान की मंशा को भारत अच्छी तरह जानता है और पाकिस्तान के मंसूबों को कभी भी पूरे नहीं होने देगा, ऐसे में सवाल हैं:
- पाकिस्तान आतंक फैलाए, दुनिया को डर भी दिखाए?
- 9/11 जैसे हमले की धमकी अमेरिका को चेतावनी?
- इमरान का तालिबानी प्लान, भारत को करेगा परेशान?
- तालिबान पर संयुक्त राष्ट्र क्यों हुआ मेहरबान?
- भारत का अगला प्लान क्या होगा?