नई दिल्ली: पाकिस्तानी क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान शाहिद अफरीदी पांचवी बार पिता बने हैं। उन्होंने शुक्रवार को अपनी पांचवी बेटी के साथ तस्वीर शेयर की और वह काफी खुश नजर आ रहे हैं। तस्वीर में पांचवी बिटिया को गोद में लिए अफरीदी के साथ उनकी चार अन्य बेटियां भी दिख रहीं हैं। इस तस्वीर के साथ कैप्शन में अफरीदी ने खुदा का शुक्रिया भी अदा किया। कैप्शन में शाहिद ने लिखा, 'सर्वशक्तिमान की दुआएं और कृपा मुझ पर है... पहले से शानदार बेटियों का पिता होने का सौभाग्य मुझे मिला हुआ है और अब मेरे घर पांचवीं बेटी हुई है। अलहमदुल्लाह। यह अच्छी खबर मैं अपने सभी शुभचिंतकों के साथ साझा कर रहा हूं।'
लोगों ने अफरीदी को किया ट्रोल
अफरीदी के इस पोस्ट पर लोग अलग-अलग तरह की कमेंट कर रहे हैं। कुछ लोग उन्हें मुबारकबाद दे रहे हैं वहीं कुछ ऐसे भी लोग हैं जो उन्हें ट्रोल कर रहे हैं। आरजू काजमी ने एक ट्विटर यूजर ने लिखा, 'आपको कब समझ आएगा कि पाकिस्तान में आबादी नियंत्रण करने की जरूरत है। चार बेटियां काफी नहीं थीं? या फिर एक बेटे की चाह में आप लड़कियों की क्रिकेट टीम बनाएंगे? अगर आपको और बच्चे चाहिए तो आप कुछ अनाथ बच्चों को गोद लेकर उन्हें अच्छी जिंदगी दे सकते हैं।' वहीं, एक यूजर ने कमेंट किया कि मुबारक हो! एक दिन महिला क्रिकेट लीग में शाहिद अफरीदी इलेवन टीम टॉप पर होगी!
एके मिश्रा ने अफरीदी को पुरुषवादी मानसिकता का बताते हुए लिखा कि वह सिर्फ क्रिकेटर बनाने के लिए लड़का चाहता हैं । लेकिन वह अपनी बेटियों को महिला खिलाड़ी नहीं बनने देंगे। प्रांजुल शर्मा ने कमेंट किया कि काश क्रिकेट में भी ऐसे ही खेलते तो आज पाकिस्तान 5 विश्व कप जीत चुका होता! खैर जाने दीजिए...। एक अन्य यूजर ने लिखा कि इंशाअल्लाह बॉयज प्लेड वेल, कोई आश्चर्य नहीं कि आपको 'बूम-बूम' कहा जाता है। बता दें कि अफरीदी अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से संन्यास ले चुके हैं लेकिन वह आईपीएल छोड़कर दुनिया की बाकी टी20 लीग में मैदान पर नजर आते रहे हैं।
जब बेटियों को लेकर विवादों में घिरे अफरीदी
पिछले साल अफरीदी उस समय विवादों में फंस गए थे जब उन्होंने अपनी बेटियों के आउटडोर गेम्स खेलने पर टिप्पणी की थी। उन्होंने कहा था कि उन्होंने अपनी बेटियों को क्रिकेट या कोई अन्य खेल खेलने की इजाजत 'सामाजिक और धार्मिक कारणों' से नहीं दी थी। उन्होंने कहा था, 'नारीवादी मेरे फैसले के बारे में कुछ भी कह सकते हैं। बेटियों को कोई भी खेल खेलने की इजाजत है जब तक वह घर के अंदर है। क्रिकेट? नहीं, मेरी बेटियों के लिए यह खेल नहीं है। उन्हें कोई भी इनडोर खेल खेलने की इजाजत है, लेकिन मेरी बेटियां पब्लिक स्पोर्ट में शामिल नहीं सकतीं।'
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