'कोई दीवाना कहता है, कोई पागल समझता है, मगर धरती की बेचैनी को, बस बादल समझता है' जैसी लोकप्रिय कविता कहने वाले कवि कुमार विश्वास आज अपना 51वां जन्मदिन मना रहे हैं। कुमार विश्वास लंबे समय से कवि सम्मेलनों और मुशायरों में अपनी छाप छोड़ रहे हैं। वह जब मंच पर आते हैं तो उनके चाहने वालों की बेसब्री देखती ही बनती है। वह अपनी रचनाओं में सत्ता पर तंज कसने से भी गुरेज नहीं करते। कुमार विश्वार की कविताओं में सहजता की डोर होती है, जो श्रोताओं को बांधे रखती है। आइए कुमार विश्वास के जन्मदिन के अवसर पर उनकी कुछ चुनिंदा शायरियों पर नजर डालते हैं, जिन्हें लोग बेहद पसंद करते हैं।